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देश का दूसरा बड़ा चंद्र अभियान 'चंद्रयान-2' छह महीने पीछे खिसका

देश का दूसरा बड़ा चंद्र अभियान चंद्रयान-2 छह महीने पीछे खिसका
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चेन्नई। अगले महीने लांच होने वाला देश का दूसरा बड़ा चंद्र अभियान 'चंद्रयान-2' अब छह महीने पीछे खिसक गया है। यह अभियान अब अक्टूबर तक के लिए स्थगित हो गया है। भारतीय अंतरिक्ष एजेंसी इसरो ने बताया है कि ऐसा फैसला विशेषज्ञों के पहले कुछ परीक्षण करने की राय के बाद लिया गया है।

भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) के अध्यक्ष के.सिवन ने शुक्रवार को बताया कि हाल ही में विशेषज्ञों ने मुलाकात करके परीक्षण करने के सुझाव दिए हैं। इसके चलते अब इस अभियान को छह महीने के बाद अक्टूबर में लांच किया जाएगा। उन्होंने संवाददाताओं को एयरपोर्ट पर बताया, 'चंद्रयान-2 अब अप्रैल में नहीं, अक्टूबर में लांच होगा।'उल्लेखनीय है कि पीएमओ में राज्यमंत्री और अंतरिक्ष विभाग के प्रभारी जितेंद्र सिंह ने विगत 16 फरवरी को ही कहा था कि चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर पहले प्रयास में अपना रोवर स्थापित करने वाला चंद्र अभियान अप्रैल में लांच होगा। हालांकि सिवन ने पहले भी कहा था कि 800 करोड़ रुपये का यह अभियान 2018 में अप्रैल और नवंबर के बीच शुरू होगा। तब उन्होंने कहा था कि लक्षित तिथि वैसे तो अप्रैल की है, लेकिन इसरो इसे अक्टूबर या नवंबर में लांच करेगा।

अंतरिक्ष में भारत की ताकत, अब इस मिशन में जुटा देश; जानें- क्या होगा प्रभावइसरो के मुताबिक, चंद्रयान-2 यान का वजन 3,290 किलो है और यह चंद्रमा के चारों ओर चक्कर काटेगा और उसका अध्ययन करेगा। यान के पेलोड चांद की सतह से वैज्ञानिक सूचनाएं और नमूने एकत्र करेंगे। यह पेलोड चांद के खनिज, तत्वों की संरचना, चांद के वातावरण और वाटर आइस का भी अध्ययन करेगा। इसरो ने अपना पहला चंद्र अभियान चंद्रयान-1 वर्ष 2008 में लांच किया था।

Updated : 26 March 2018 12:00 AM GMT
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