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जीडीसीए के अध्यक्ष और सचिव से मांगा इस्तीफा

जीडीसीए के अध्यक्ष और सचिव से मांगा इस्तीफा
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शहडोल के बाद सागर से हारी ग्वालियर डिवीजन क्रिकेट टीम

ग्वालियर, विशेष प्रतिनिधि| महाराजा यशवंत राव होलकर सीनियर डिवीजन क्रिकेट टूर्नामेंट में ग्वालियर की टीम की लगातार दूसरी हार से वह इस महत्वपूर्ण टूर्नामेंट से बाहर हो गई हैं। पहले वह शहडोल से हारी थी और रविवार को सागर से 252 रनों से हार गई। इन दो लगातार हार को लेकर शहर के कई वरिष्ठ खिलाड़ियों ने इसके लिए जीडीसीए के कार्यकारी अध्यक्ष प्रशांत मेहता और मानसेवी सचिव रवि पाटनकर से इस्तीफे की मांग की है। यह पहला मौका है जब जीडीसीए दो गुटों में बंटा है और मामला खुलकर सामने आ गया है।

जानकारी के मुताबिक पिछले कुछ समय से ग्वालियर डिवीजन क्रिकेट एसोसिएशन में काफी विवाद उभरकर सामने आए हैं। इसमें टीमों का चयन, चयनकर्ता, ट्रायल सहित अपनों को उपकृत्य करना प्रमुख कारण हैं। इसी वजह से जीडीसीए की कार्य प्रणाली से खफा कुछ पूर्व क्रिकेटरों ने एक पत्र श्री मेहता को देकर उनसे मिलने की मांग थी, लेकिन उन्होंने मुलाकात के लिए समय नहीं दिया। इस बीच डिवीजन टीम की दो लगातार हार को लेकर उक्त दोनों पदाधिकारियों के इस्तीफे की मांग उठ खड़ी हुई है। पूर्व क्रिकेटरों का नेतृत्व कर रहे संजय शर्मा उर्फ छुट्टा ने सतीश गुप्ता, संजय सिंह पापड़ी, सुनील जादौन, अनवर खान, भगवान सिंह, मोहम्मद आरिफ, आलोक यादव, बलवीर सिंह, इन्द्रजीत शिंदे, गुरशरण सिंह, विजेन्द्र सिंह, के नामों से एक बयान जारी कर दो शर्मनाक हार के लिए श्री मेहता और श्री पाटनकर से नैतिकता के नाते इस्तीफे की मांग की है। बयान में कहा गया है कि वर्षों जमे इन पदाधिकारियों की तानाशाही और मनमानी से ग्वालियर का क्रिकेट बर्बाद हो रहा है। चयनकर्ताओं द्वारा स्थानीय खिलाड़ियों को तरजीह देने के बजाय बाहर के सात खिलाड़ी टीम में लिए गए हैं। ये लोग अपने गलत कार्यों की जानकारी छुपाकर एमपीसीए के अध्यक्ष रहे सांसद ज्योतिरादित्य सिंधिया को गुमराह कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि क्रिकेट में आवश्यक सुधार के लिए 24 सूत्रीय सुझाव पत्र श्री मेहता को दिया गया था, लेकिन उन्होंने प्रतिनिधि मंडल से मिलने से इनकार कर दिया। अब शीघ्र ही इनकी धांधलियों की जानकारी से श्री सिंधिया को अवगत कराया जाएगा। वहीं जब इस मामले में जीडीसीए के कार्यकारी अध्यक्ष प्रशांत मेहता से बात करना चाही तो उनका मोबाइल रिसीव नहीं हुआ।

इनका कहना है
‘‘क्रिकेट में हारना जीतना तो होता ही रहता है पहले हम जीते भी है अब हारे हैं। इस्तीफे मांगे जाने की जानकारी मुझे नहीं है।’’

रवि पाटनकर,मानसेवी सचिव जीडीसीए

Updated : 19 March 2018 12:00 AM GMT
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