जनमानस
क्या केजरीवाल घमण्डी नहीं है?
आम आदमी पार्टी के मुखिया अरविन्द केजरीवाल सिर्फ खुद को और अपनी पार्टी को ईमानदार कहने वाले और सभी बड़ी पार्टियों को चोरों के दल बताने वाले आज दिल्ली में सबसे भ्रष्ट पार्टी कांग्रेस के सहयोग से सरकार बना कर बैठे हैं। दिल्ली की जनता को हर तरह के मीठे-मीठे सपने दिखाकर उन पर नाकाम होते दिख रहे मुख्यमंत्री ने क्या घटिया ड्रामा किया कि वहां का आम जन बढ़ी हुई परेशानी में दिखा। एक तरफ केजरीवाल दिल्ली पुलिस ही नहीं सारे भारत की पुलिस को चोर गुण्डों की फौज- बता रहे हैं साथ में गणतंत्र दिवस को मजाक बताकर झांकियों का दिन कहकर संविधान का अपमान कर रहे हैं। उससे हरेक समझदार व्यक्ति या बुद्धिजीवी उनके खिलाफ और नाराज है। इनके मंत्री जो कानून को सरेआम तोड़ते हैं। दिल्ली के इस कानून मंत्री का व्यक्तिगत कोई भी मान-सम्मान का नामो निशान नहीं। पल-पल पर अपने बयानों पर पलटना अब बंद कर देना चाहिए और इतना झूठ मत बोलो कि शुरुआत बहुत धमाके दार हुई, लेकिन इतनी जल्दी लोग तुम्हें अराजक, बदमिजाज, घमण्डी, तानाशाह और बहुत झूठ बोलने लगे तो खात्मा भी शर्मनाक हो जाएगा। दूसरों को कोसने वाले दिल्ली के सीएम साहब अपनी टीम को विश्वास में लो और कुछ समय मीडिया से दूर रहकर जनहित कार्य करने की भावना जगाओ जो तुम्हारे हित में है। साथ में मीडिया को धन्यवाद ही नहीं किसी बहाने पुरस्कृत कर दो जो तुम्हें एवं तुम्हारी पार्टी को बचाए हुए है।
उदयभान रजक, ग्वालियर