मुजफ्फरनगर दंगा मामले की सुनवाई 16 जुलाई तक टली

मुजफ्फरनगर | उत्तर प्रदेश के मुजफ्फरनगर जिले की एक अदालत ने पिछले साल हुए दंगों से जुड़े कवाल गांव के मामले की सुनवाई 16 जुलाई तक के लिए स्थगित कर दी है। अदालत ने एक प्रत्यक्षदर्शी का बयान दर्ज करने के बाद सुनवाई 16 जुलाई तक स्थगित की।
शिकायतकर्ता अरविंद कुमार ने बीती शाम अदालत के समक्ष अपना बयान दिया। उन्होंने कहा कि आरोपियों ने उनके बेटे गौरव और भतीजे सचिन को पीट-पीटकर मार डाला था। अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायाधीश जितेंद्र कुमार ने सुनवाई स्थगित कर दी और अगली सुनवाई के लिए 16 जुलाई की तारीख मुकर्रर की। उस दिन अरविंद के साथ जिरह होगी।
अभियोजन पक्ष के अनुसार 27 अगस्त, 2013 को पांच आरोपियों मुजस्सिम, मुजम्मिल, नदीम, फुरकान और जहांगीर ने कवाल गांव में दोनों युवकों को पीट-पीट कर मार डाला था। गौरव के परिवार ने सात लोगों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कराई थी। इसके बाद 27 नवंबर को विशेष जांच दल (एसआईटी) ने पांच आरोपियों के खिलाफ आरोप पत्र दायर किया।
छेड़खानी की घटना के बाद कवाल गांव में तीन लोगों को मार डाला गया और मुजफ्फरनगर तथा आसपास के इलाकों में दंगे हो गए थे। दंगे में 60 से अधिक लोग मारे गए और 40,000 से अधिक लोग बेघर हो गए थे।

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