राज्य में आई बाढ़ से पयर्टन को लगा भारी धक्का, यात्रियों में भी भारी कमी

जम्मू। भारी बारिश व बाढ़ के कारण यहां आम जनजीवन तो बुरी तरह प्रभावित हुआ व जानमाल की भारी क्षति हुई है। वहीं राज्य के पयर्टन को भी खासा नुकसान पहुंचा है। आजकल नवरात्रों के पवित्र दिन हैं, बावजूद इसके देशभर से आने वाले मां वैष्णों देवी के भक्तों के अलावा कश्मीर घूमने आने वाले अधिकतर पयर्टकों ने अपने कार्यक्रम रद कर दिये हैं। जिसका राज्य के राजस्व पर विपरीत प्रभाव पड़ा है। हालांकि इन दिनो कश्मीर आने वाले पयर्टको की तदाद लगातार बढ़ जाती है। परंतु घाटी में बाढ़ से हुए विनाश के कारण पयर्टक यहां आने से परहेज करने लगे हैं। देश के बड़े शहर मसलन, कलकता, मुंबई, अहदाबाद, बंगलुरू, चेन्नई, हैदराबाद जैसे क्षेत्रों से पयर्टकों ने अपनी पहले से करवाई हुई वुकिंग को रदद करवाना शुरू कर दिया है। यहां के होटल, टूर टैªवल से जुड़ी एंजेंसियां, ढाबेवाले से लेकर गिफ्ट शाप वाले सभी इन स्थितियांे से परेशान हो गए हैं। चूंकि पयर्टन के जरिए राज्य के आम आदमी से लेकर सरकार तक को काफी राजस्व प्राप्त होता है परंतु ताजा हालात में राजस्व को काफी नुकसान होने लगा है। यहां आजकल नवरात्र के दिनों में मां वैष्णों देवी के दरवार के लिए बीते सालों की तरह काफी बड़ी तादाद में श्रद्धालु नहीं आ पा रहें हैं। पश्चिम बंगाल की राजधानी कलकता में आजकल दुर्गा पुजा की तैयारियां चल रही हैं इस अहम वजह से भी वहां का पयर्टक यहां नहीं आ पा रहा है। भारी बारिश के कारण राज्य में जो नुकसान हुआ और उससे हालात खराब हुए। इसके चलते अन्य राज्य के पयर्टक एक बड़ी तादाद में शिमला, नैनीताल तथा देहरादून को कश्मीर के विकल्प के तौर पर मानकर इन जगहों का रूख कर रहे हैं बल्कि विशेष पयर्टन पैकेज के तहत लोग विशाखापटनम, केरला, लक्ष्यद्वीप, अडमान तथा निकोवार जैसे आईसलैंड की ओर जा रहे हैं।


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