प्राध्यापक अब जीपीएस से रखेंगे छात्र-छात्राओं पर नजर

भोपाल। इन दिनों देखा जा रहा है कि कॉलेजों में छात्र आते तो हंै, लेकिन क्लास में नहीं । कई छात्र-छात्राएं घंटों तक कैम्पस में घूमते रहते हैं और क्लासों में नहीं जाते हैं। जिससे शिक्षक परेशान होते रहते हैं। शिक्षक को इन परेशानी से दूर करने के लिए उच्च शिक्षा विभाग ने एक निर्णय लिया है।
मिली जानकारी के अनुसार अब छात्र क्लास में हंै, या नहीं इसकी जानकारी अब सीधी प्रोफेसरों को मिलेगी। इसके लिए उच्च शिक्षा विभाग प्रोफेसरों को छात्रों से जीपीएस ग्लोबल पोजिशनिंग सिस्टम के द्वारा कनैक्ट किया जाएगा। जिसकी जानकारी विभाग ने हॉल में ही हुई उच्च शिक्षा विभाग की वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग में कुलसचिवों और प्राचार्यों को दी।

लम्बे समय से मिल रही थीं शिकायतें
उच्च शिक्षा विभाग को लम्बे समय से शिकायतें मिल रही थीं कि कॉलेजों में छात्र क्लास होने के बाद कैंटीन में बैठकर टाइम पास करते हैं। इसके आलवा कई बच्चे गार्डन और पॉर्किंग में भी बैठते हैं। जिस पर प्रोफेसर का हमेशा कहना होता था कि वे हर एक बच्चे के पीछे—पीछे घूमकर ये नहीं पता लगा सकते है कि बच्चा कॉलेज में क्या कर रहा है। जिसको विभाग ने सख्ती से लेते हुए ये फैसला लिया है।

छात्रों का कहना, नहीं लगती हैं क्लासें
इस विषय में जब छात्रों से बात की तो कुछ और ही सच सामने आया। एमएलबी कॉलेज की फाइनल ईयर की एक छात्रा ने नाम न बातने की शर्त पर बताया कि अक्सर प्रोफेसर क्लासों में नहीं आते हैं। अगर आते भी हैं तो बस लैक्चर दिया और चले जाते हंै। बच्चों को समझ आया या नहीं इससे उनको कोई मतलब भी नहीं रहता है। कई बार हाजिरी रजिस्टार भी नहीं लाते हैं। ऐसे में वे कैसे बच्चों को दोषी करार दे सकते हैं। जबकि ज्यादातर बच्चे टीचर्स की लापरवाही के कारण कॉलेज नहीं आते हैं। 

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