चंदेरी साड़ी की पहचान को नई उंचाइयों तक पहुंचाएंंगे: मुख्य सचिव
चन्देरी। चंदेरी साड़ी की पहचान को नई उंचाईयों तक ले जाने के लिए शासन प्रशासन द्वारा हर संभव मदद की जाएगी। बुनकरों की कला को नवीन आधुनिक तकनीक के माध्यम से बेहतर मुकाम दिलाया जाएगा। इस आशय के विचार प्रदेश के मुख्य सचिव अन्टोनी डिसा ने जिला अशोकनगर के जनपद पंचायत चंदेरी के भ्रमण के दौरान चंदेरी साड़ी बुनने वाले बुनकरों के घरों पर पहुंचकर व्यक्त किए। इस अवसर पर प्रमुख सचिव कुटीर एवं ग्रामोद्योग डॉ. प्रवीर कृष्ण, आयुक्त हाथकरघा श्रीमती जी.व्ही.रश्मि, कलेक्टर अरूण कुमार तोमर, पुलिस अधीक्षक संतोष सिंह गौर, मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत एम.एल.वर्मा, अपर कलेक्टर एस.के.सेवले, एसडीएम इच्छित गढ़पाले, उप संचालक हाथकरघा एम गुलाटी, सहायक संचालक एस.के.शाक्यवार, संबंधित अधिकारी एवं बुनकर उपस्थित थे।
मुख्य सचिव श्री डिसा ने कहा कि चंदेरी के बुनकरों के लिए किसी भी प्रकार की समस्या का सामना नहीं करना पड़ेगा। चंदेरी साड़ी की अलग पहचान हमेशा बनी रहेगी। शासन द्वारा कार्ययोजना बनाकर सभी समस्याओं का निराकरण हर स्तर पर कराने का प्रयास किया जाएगा। उन्होंने कहा कि बुनकरों के लिए कच्चा माल उपलब्ध कराने की स्थानीय स्तर पर व्यवस्था सुलभ कराई जाएगी। बनारस तथा बंगलौर से कुषल प्रशिक्षितों द्वारा बुनकरों को प्रशिक्षण दिलाया जाएगा। लकड़ी लूम्स की जगह ऐंगिल लूम्स स्थापित कराये जाएंगे। साथ ही कम्प्यूटराईज्ड डिजाइन हेतु पंचिग मशीनें लगवाई जाएंगी। शासन द्वारा पंजीकृत बुनकरों को जॉब कार्ड बनाकर प्रदान किए जाएंगे। चंदेरी वस्त्रों को टूरिज्म से भी जोड़ा जाएगा। चंदेरी साड़ी का ट्रेड मार्का दिया जाएगा ।
बुनकरों से बुनाई एवं डिजाइन की जानकारी ली
मुख्य सचिव ने चंदेरी में बुनकर कालोनी एवं पसियापुरा पहुंचकर बुनकर मोहम्मद साबिर, जावेद, अता मोहम्मद, प्रमोद कोली, साबिर मोहम्मद से चंदेरी साड़ी के बुनाई की तकनीक एवं डिजाइन, उत्पादन, कच्चे माल की प्राप्ति तथा आय के बारे में विस्तार से जानकारी प्राप्त की। साथ ही साड़ी बुनने के कार्य में आने वाली परेशानियों एवं समस्याओं को जाना। बुनकरों ने बताया कि इस कालोनी में 50 परिवार निवासरत हैं तथा 100 लूम्स स्थापित हैं । इस कालोनी का निर्माण वर्ष 1982 में हुआ था।
शिल्प ग्राम में 100 आवासों का होगा निर्माण
बुनकरों की आवास की समस्या के निराकरण के लिए पहल करते हुए आश्वस्त किया कि नवीन बुनकर कालोनी में 100 आवासों का निर्माण कराया जाएगा। यह शिल्प ग्राम हैण्डलूम पार्क के समीप बनेगा जिसमें सभी आवश्यक सुविधाएं मुहैया कराई जाएंगी। साथ ही पुरानी बुनकर कालोनी की छतों को पक्का कराया जाएगा, इस हेतु 20 हजार रूपए की राशि मुहैया कराई जाएगी। जिससे बारिश में किसी प्रकार की परेशानी न हो तथा साड़ी बुनने के कार्य में रूकावट पैदा न हो।
हैण्डलूम्स पार्क का किया निरीक्षण
भ्रमण के दौरान मुख्य सचिव श्री डिसा ने बुनकरों के लिए बनने वाले हैण्डलूम्प पार्क का निरीक्षण किया गया। उन्होंने बताया कि भारत सरकार की सहायता से 50 करोड़ रूपए की लागत से हैण्डलूम्स पार्क का निर्माण कराया जा रहा है। इसमें बुनकरों को किसी भी प्रकार की समस्या न रहे इस हेतु व्यवहारिक बनाया जाएगा। यह हैण्डलूम्प पार्क 240 बुनकरों के लिए विश्व स्तरीय प्रशिक्षण केन्द्र के रूप में विकसित होगा। उन्होंने अधिकारियों को तय समय सीमा में पार्क निर्माण कराये जाने के निर्देश दिए। उल्लेखनीय है कि इस पार्क का निर्माण 4.19 हेक्टेयर भूमि पर होगा। इसमें ऑन लाइन बिक्री को बढ़ावा देने के लिए कम्प्यूट्रीकृत डिजाईनिंग सेंटर व मार्केटिंग के लिए सेटअप तैयार किया जाएगा। इसमें यार्न बैंक भी रहेगा। जिसमें बुनकरों के लिए शिल्क, मसराईज्ड, सूत जो कि साड़ी में लगने वाले सभी प्र्रकार के धागे उचित शासकीय दरों से बुनकरों को उपलब्ध हो सकेंगे। साथ ही डिस्प्ले सेंटर भी रहेगा। इसमें 10-10 के ग्रुप में 24 संस्थाओं के बुनकरों को शासकीय नियमानुसार वितरण किया जाएगा।
साड़ी बुनाई प्रशिक्षण केन्द्र का किया निरीक्षण
मुख्य सचिव द्वारा भ्रमण के दौरान चंदेरी में गिन्नी भवन साड़ी बुनाई प्रशिक्षण केन्द्र का निरीक्षण किया। उन्होंने संग्रहालय में स्थापत्य कला पर आधारित विभिन्न डिजाइन की गई साडिय़ों का अवलोकन किया। उन्होंने रंगाई कक्ष एवं कम्प्यूटर कक्ष में कम्प्यूटर से डिजाइन किए जाने तथा पंचिंग मषीन का निरीक्षण किया। बुनाई कार्यशाला में प्रशिक्षण लेने वालों की छात्रवृत्ति 750 रूपए प्रतिमाह से बढ़ाकर 1500 रूपए प्रतिमाह किए जाने के निर्देश दिए।
राजा-रानी महल में साड़ी बुनाई को देखा
चंदेरी में राजा-रानी महल पहुंचकर स्थानीय स्तर पर संचालित राजा रानी महल में चंदेरिया एनजीओ का निरीक्षण किया। उन्होंने बुनकरों द्वारा किए जाने वाले साड़ी बुनाई कार्य की बारीकियों को समझा। उन्होंने नवीन तकनीक से डिजाईन की गई साडिय़ों की बुनाई के बारे में जानकारी प्राप्त की तथा बुनकरों के बारीक कार्य की सराहना की।
बादल महल एवं म्यूजियम का निरीक्षण
मुख्य सचिव अन्टोनी डिसा द्वारा भ्रमण के दौरान बादल महल एवं चंदेरी म्यूजियम का निरीक्षण किया। निरीक्षण के दौरान मुख्य सचिव ने कहा कि चंदेरी में पुरातत्व संपदा की भरमार है। उन्होंने कहा कि चंदेरी के दो दिवसीय भ्रमण के दौरान पुरातत्व संपदा को देखने का अवसर प्राप्त हुआ। चंदेरी को पर्यटन की दृष्टि से इसे और अधिक विस्तार एवं विकसित किया जाएगा।