नई दिल्ली। इसरो के वैज्ञानिकों ने दिन-रात एक करके मंगल ग्रह की तरफ भेजे जा रहे मंगलयान के इंजन को 'जगाने' की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। इंजन को ऐक्टिव इसलिए किया जा रहा है, ताकि 21 सितंबर को इसका टेस्ट किया जा सके। बताया जा रहा है कि इसके इंजन को 21 सितम्बर को केवल चार सेकंड के लिए चलाकर देखा जाएगा कि यह ठिक से काम कर कर रहा है या नहीं ।
खबर है कि इस परिक्षण के तीन दिन बाद 24 सितंबर को मंगलयान के इंजन की असली परिक्षा होगा। उस दिन इंजन को 24 मिनट तक के लिए फायर किया जाएगा, ताकि मार्स ऑर्बिटर मिशन मंगलयान की गति धीमी की जा सके और इसे मंगल की कक्षा में स्थापित किया जा सके। अगर इसरो के वैज्ञानिक ऐसा करने में सफल हो गए, तो भारत पहली ही कोशिश में कामयाबी हासिल करने वाला दुनिया का पहला देश होगा। उल्लेखनीय है कि भारत से पहले अमेरिका, रूस और यूरोपियन स्पेस एजेंसी ने कई कोशिशों के बाद अपने ऑर्बिटर मंगल की कक्षा में स्थापित किए थे।
गौरतलब है कि मंगलयान को पिछले वर्ष 30 अक्टूबर को धरती से मंगल की तरफ भेजा गया था। तब से लेकर अब तक 300 दिन हो चुके हैं और इस वक्त यह 82 हजार किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से मंगल की तरफ बढ़ रहा है। वहीं दूसरी ओर वैज्ञानिक मंगल महोत्सव नाम से विद्यालयों में कार्यशाला आयोजित करके इस प्रक्षेपण की वैज्ञानिक जानकारी के साथ-साथ पोस्टर प्रदर्शनी तथा विज्ञान फिल्म का प्रदर्शन करके मंगलयान की कार्यप्रणाली को समझाया जा रहा है।