गुवाहाटी। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने आज सुबह शिलांग पहुंचे। उन्होंने यहां उत्तर पूर्वी परिषद (एनईसी) के 69 वें अधिवेशन का उद्घाटन किया।उत्तर पूर्वी परिषद (एनईसी) पूर्वोत्तर क्षेत्र के आर्थिक और सामाजिक विकास के लिए एक नोडल एजेंसी है। जिसमें आठ राज्य अरुणाचल प्रदेश, असम, मणिपुर, मेघालय, मिजोरम, नागालैंड, सिक्किम और त्रिपुरा शामिल हैं।
गृहमंत्री शाह ने सुभाष चंद्र बोस की 125 वीं जयंती के अवसर पर नेताजी को पुष्पांजलि अर्पित की। इस अधिवेशन के शुभारंभ पर सभी आठों राज्यों के मुख्यमंत्री एवं केंद्रीय मंत्रालयों के बड़ी संख्या में प्रतिनिधि उपस्थित रहें।
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कहा की नेताजी के जन्मदिन को पराक्रम दिवस के रूप में मनाये जाने का प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने एक निर्णय लिया है कि सुभाष बाबू की 125 वीं वर्षगांठ पूरे देश में उत्साह और उत्साह के साथ मनाई जा रही है। सुभाष बाबू एक शक्तिशाली छात्र, देशभक्त, कुशल प्रशासक, कुशल पर्यवेक्षक एवं उत्कृष्ट नेता थे।
गृह मंत्री ने कहा की नेताजी ने भारतीय सिविल सेवा छोड़ दी और स्वतंत्रता की लड़ाई के मैदान में कूद गए। वह दो बार कांग्रेस में पार्टी अध्यक्ष रहे। उन्होंने आज़ाद हिंद फ़ौज का गठन किया। कोलकाता से जर्मनी होते हुए रूस तक, उन्होंने एक पनडुब्बी में 7,000 किलोमीटर से अधिक की यात्रा की है। आज देश उनके प्रति आभारी है, मैंने खुद सुभाष बाबू को श्रद्धांजलि दी और मुझे उम्मीद है कि हम सभी सुभाष चंद्र बोस की 125 वीं जयंती मनाने के पीएम मोदी के फैसले में भाग लेंगे और विशेष रूप से नेताजी के जीवन के बारे में बच्चों और युवाओं को शिक्षित करेंगे। हैं