काठमांडू। नेपाल में सरकार के भंग होने के बाद निर्वाचन आयोग देश में चुनाव के लिए संक्रिय हो गया है। इसी क्रम में नेपाल के चुनाव आयोग ने प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली को 12 और 19 नवम्बर को होने वाला मध्यावधि चुनाव एक चरण में कराने की सलाह दी है ताकि चुनाव प्रक्रिया के दौरान कोरोना वायरस संक्रमण नहीं फैले।
प्रधानमंत्री के साथ शनिवार को बैठक के बाद मुख्य निर्वाचन आयुक्त दिनेश कुमार थपलिया ने कहा कि चुनाव की घोषणा होने के बाद सफलतापूर्वक चुनाव करवाना निर्वाचन आयोग का संवैधानिक दायित्व है। 'माय रिपब्लिका ने थपलिया के हवाले से कहा है कि तैयारी के लिए हमारे पास पर्याप्त समय है और सरकार को एक चरण में चुनाव कराने का सुझाव दिया है। प्रधानमंत्री ओली की सिफारिशों पर नेपाल की राष्ट्रपति विद्या देवी भंडारी ने पांच महीने में दूसरी बार शनिवार को प्रतिनिधि सभा को भंग कर दिया और 12 तथा 19 नवम्बर को मध्यावधि चुनाव कराने की घोषणा की।
ओली ने सुझाव दिया कि कोरोना वायरस महामारी के मद्देनजर चुनाव प्रबंधन को लेकर पूर्व के अनुभवों के आधार पर निर्वाचन आयोग के अधिकारी चुनाव कराने के लिए उचित रणनीति बना सकते हैं। ओली ने कहा, एक तरफ महामारी फैल रही है दूसरी तरफ छह महीने के भीतर चुनाव भी हो जाने चाहिए। महामारी के कारण चुनाव को टालने के हालात नहीं हैं। महामारी के बीच भी भारत, अमेरिका, ब्रिटेन और ब्राजील जैसे देशों में चुनाव सफलतापूर्वक संपन्न हुए।