Bangladesh: बांग्लादेश की नई सरकार ने 15 अगस्त की छुट्टी को किया रद्द

बांग्लादेश में हर साल 15 अगस्त को शेख मुजीबुर रहमान की हत्या को लेकर शोक दिवस मनाया जाता है। लेकिन इस बार नई सरकार ने इस छुट्टी को रद्द करने का फैसला ले लिया है।

Update: 2024-08-14 12:27 GMT

बांग्लादेश में पिछले कुछ दिनों से जो भी घटनाएं हो रही है वो दिल दहला देने वाली रही हैं। वहां पर स्टूडेंट्स प्रोटेस्ट के नाम से जिस तरह से एक संगठन ने अपना कब्ज़ा किया हुआ है उसके चलते आम जीवन बिल्कुल अस्त- व्यस्त हो गया। पहले तो पीएम शेख हसीना की सरकार चली गई वहीं दूसरी तरफ मोहम्मद यूनुस को तुरंत पेरिस से बुलाकार नई सरकार का गठन कर दिया गया। अब एक- एक करके बड़ी संस्थानों के लोग भी अपने पद से इस्तीफ़ा देने लगे। लेकिन ये विवाद अब सिर्फ सत्ता तक ही सीमित नहीं रह गई है बल्कि 15 अगस्त को होने वाली छुट्टी भी खत्म कर दी गई, और ये शेख हसीना के लिए काफी बुरी खबर बताई जा रही है।


15 अगस्त को क्यों होती थी छुट्टी

बांग्लादेश में 15 अगस्त हमेशा से राष्ट्रीय शोक दिवस के तौर पर मनाया जाता रहा है। ये दिन पूर्व पीएम शेख हसीना के लिए बेहद खास रहा है, क्योंकि इस दिन शेख हसीना के पिता शेख मुजीबुर रहमान की हत्या कर दी गई थी। वो स्वतंत्र बांग्लादेश के पहले राष्ट्रपति थे। उन्हें देश में राष्ट्रपिता का दर्जा दिया जाता है। शेख मुजीबुर रहमान की हत्या 15 अगस्त 1975 को राजधानी ढाका में उनके घर धानमंडी में परिवार समेत कर दी गई थी। इस पूरे हत्याकांड को सेना की एक टुकड़ी द्वारा अंजाम दिया गया था। इसीलिए इस दिन को राष्ट्रीय शोक दिवस के तौर पर पूरे बांग्लादेश में मनाया जाता है।

शेख हसीना ने की शोक दिवस मनाने की अपील

जब से ये फैसला आया है कि शोक दिवस की छुट्टी खत्म कर दी गई है तब से शेख हसीना काफी परेशान है। उन्होंने इस फैसले का विरोध भी किया। जिसको लेकर उन्होंने कहा कि ‘मैं आपसे अपील करती हूं कि 15 अगस्त को पूरी श्रद्धा और गरिमा के साथ शोक दिवस मनाएं। बंगबंधु भवन जाकर श्रद्धांजलि अर्पित करें, जिससे सभी आत्माओं को शांति मिले।' शेख हसीना के इस पोस्ट को उनके बेटे सजीब वाजेद ने एक्स पर की है। खबर ये भी आ रही कि 15 को बांग्लादेश में हिंसा हो सकती है जिसका मकसद शेख हसीना के जमीन पर कब्ज़ा करना है।

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