NEET Paper Leak Case : पटना AIIMS से पकड़े गए 4 छात्र, खुलेंगे पेपर लीक के राज

NEET Paper Leak Case : सुप्रीम कोर्ट में गुरुवार को होने वाली सुनवाई से पहले सीबीआई द्वारा की गई यह एक अहम गिरफ्तारी है।

Update: 2024-07-18 05:16 GMT

NEET Paper Leak Case 

(Updated News) NEET Paper Leak Case : बिहार। सीबीआई (CBI) ने पेपर लीक मामले में एम्स पटना से चार छात्रों को हिरासत में लिया है। इन सभी से पूछताछ की जा रही है। डॉक्टर्स के तार नीट पेपर लीक मामले से जुड़े थे। सीबीआई ने इनका कमरा सील कर फोन और लैपटॉप को जब्त कर लिया है। सुप्रीम कोर्ट में गुरुवार को होने वाली सुनवाई से पहले सीबीआई द्वारा की गई यह एक अहम गिरफ्तारी है। इनसे पूछताछ में कई राज खुल सकते हैं। इसके पहले जानकारी सामने आई थी कि, डॉक्टर्स को गिरफ्तार किया गया है लेकिन एम्स के कार्यकारी निदेशक द्वारा दी गई जानकारी के अनुसार चारों छात्र हैं।

एम्स पटना के कार्यकारी निदेशक और सीईओ डॉ. गोपाल कृष्ण पाल ने कहा, "किसी डॉक्टर को गिरफ्तार नहीं किया गया है, लेकिन उपलब्ध जानकारी के अनुसार, सीबीआई की टीम 4 छात्रों को ले गई है। इनमें से एक छात्र छात्रावास में नहीं था, वह खुद बाद में उन्हें रिपोर्ट किया। इसलिए, हमें जो जानकारी मिली है, उसके अनुसार कुल 4 छात्र सीबीआई के पास हैं। उनके एक वरिष्ठ अधिकारी ने पहले NEET घोटाले में शामिल सभी छात्रों के नाम, उनके फोटो और मोबाइल नंबर साझा किए थे। हमने उन्हें आवश्यक सभी सहायता के बारे में सहयोग किया है। हम सहयोग करना जारी रखेंगे।

इन चार छात्रों को गिरफ्तार किया गया है उनमें चंदन सिंह, राहुल आनंद, करण जैन और कुमार सानू शामिल हैं। चंदन सिंह सीवान (बिहार) के निवासी हैं, कुमार सानू पटना (बिहार) के निवासी हैं, राहुल आनंद वास्तव में धनबाद (झारखंड) के हैं, लेकिन अब पटना में रहते हैं और कारा जैन अररिया (बिहार) के हैं।

सूत्रों के अनुसार ये डॉक्टर्स पेपर सॉल्वर गैंग के सदस्य हो सकते हैं। पेपर लीक मामले में सीबीआई पूरे नेटवर्क का पता लगाने में जुटी है जिसके तहत नीट यूजी परीक्षा के पेपर लीक किये गए। पिछले दिनों सीबीआई ने पंकज नाम के आरोपी को गिरफ्तार किया था। पंकज के तार हजारीबाग के ओएसिस स्कूल के प्रिंसिपल से जुड़े थे। ट्रक से पेपर चुराने में भी पंकज का ही हाथ था।

सीबीआई ने झारखण्ड से एक अन्य आरोपी को भी गिरफ्तार किया था। जिसका नाम राजू बताया गया था। राजू द्वारा लीक किये गए पेपर को आगे पहुँचाने का काम किया गया था। ये दोनों ही गिरफ्तारी काफी अहम मानी जा रही थी लेकिन पटना एम्स के डॉक्टर्स की गिरफ्तारी के बाद कई अन्य राज भी खुल सकते हैं।

बता दें कि, सुप्रीम कोर्ट द्वारा नीट पेपर लीक मामले की सुनवाई की जा रही है। छात्र दोबारा परीक्षा कराए जाने की मांग कर रहे हैं वहीं सरकार का कहना है कि, व्यापक रूप से पेपर लीक नहीं हुआ है इसलिए 23 से 24 लाख छात्रों के साथ यह अन्याय होगा कि, परीक्षा रद्द कर दी जाए। इस मामले में सीबीआई भी कोर्ट के सामने अब तक की जांच में सामने आये तथ्य प्रस्तुत करेगी। इस तरह देखना होगा कि, क्या कोर्ट दोबारा नीट कराए जाने के लिए आदेश देगा।

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