महाराष्ट्र में विधायकों को मुफ्त घर देने की योजना पर बवाल, विरोध में उतरी राकांपा और कांग्रेस
शरद पवार ने कहा मुफ्त घर का निर्णय सही नहीं
मुंबई। महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एवं शिवसेना अध्यक्ष उद्धव ठाकरे की ओर से विधायकों को मुंबई में मुफ्त घर देने की घोषणा पर राजनीति गरमा गई है। मुख्य विपक्षी दल भाजपा के बाद अब सत्तारूढ़ महाविकास आघाड़ी के घटक दल राकांपा और कांग्रेस ने भी इसका विरोध किया है। राकांपा अध्यक्ष शरद पवार ने कहा कि यह निर्णय सही नहीं है।
शरद पवार ने सोमवार को पत्रकारों से कहा कि विधायकों के लिए अलग से गृह निर्माण नियम बनाना, उन्हें मुफ्त घर देना किसी भी हालत में उचित नहीं है। राज्य में चल रही गृह निर्माण योजना में हर वर्ग की तरह विधायकों को घर देने का अलग से उपबंध है। इसके तहत विधायकों को मुंबई में घर खरीदने का प्रावधान है, इसलिए अलग से योजना बनाया जाना उचित नहीं है। पवार ने कहा कि इस मुद्दे पर वे राकांपा के मंत्रियों के साथ चर्चा करेंगे।
कांग्रेस विधायक जीसान सिद्दीकी और प्रणिति शिंदे समेत कांग्रेस के कई विधायक मुख्यमंत्री की मुफ्त घर योजना का विरोध कर चुके हैं। इन विधायकों का कहना है कि पहले गरीब लोगों की घर की समस्या हल की जानी चाहिए। भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष चंद्रकांत पाटिल ने कहा कि उनका मुंबई में घर नहीं है, लेकिन फिर भी वे इस योजना का विरोध करते हैं। राज्य सरकार को किसानों, राज्य परिवहन निगम के कर्मचारियों की समस्याओं का समाधान करना चाहिए।
गृह निर्माण मंत्री जीतेंद्र आव्हाड ने कहा कि किसी भी विधायक को मुफ्त घर नहीं दिया जाएगा। ग्रामीण क्षेत्र के विधायकों को मुंबई में जमीन तथा निर्माण खर्च का पैसा अदा करने के बाद ही घर मिल सकेगा। वहीं, पर्यावरण मंत्री आदित्य ठाकरे ने कहा कि राज्य सरकार मुंबई महानगर क्षेत्र में रहने वाले विधायकों को घर नहीं देगी। सिर्फ ग्रामीण इलाकों में रहने वाले विधायकों को लागत खर्च जमा करने पर घर दिया जाएगा।उल्लेखनीय है कि मुंबई में बजट सत्र में मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने 300 विधायकों को मुफ्त घर देने की घोषणा की थी। इसी पर राजनीति गरमाई हुई है।