भाजपा कार्यकर्ता ने ज्योतिरादित्य सिंधिया को खून से लिखा पत्र, गोहद से रणवीर जाटव के लिए मांगा टिकट

भाजपा कार्यकर्ता ने ज्योतिरादित्य सिंधिया को खून से लिखा पत्र, गोहद से रणवीर जाटव के लिए मांगा टिकट
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रणवीर जाटव सिंधिया समर्थक माने जाते है। वे साल 2020 में ज्योतिरादित्य सिंधिया के साथ कांग्रेस छोड़ भाजपा में शामिल हुए थे, लेकिन उपचुनाव में उन्हें हार मिली थी

भिंड। भाजपा द्वारा प्रदेश की 39 सीटों पर उम्मीदवारों की घोषणा के बाद भिंड में असंतोष के सुर सुनाई देने लगे है। जिले गोहद विधानसभा सीट से पूर्व विधायक और सिंधिया समर्थक रणवीर जाटव का टिकट कटने के बाद कार्यकर्ताओं में नाराजगी है। यहां एक भाजपा कार्यकर्ता ने ज्योतिरादित्य सिंधिया को खून से पत्र लिखकर रणवीर जाटव को टिकट देने की मांग की है। बता दें कि भाजपा ने गोहद से लाल सिंह आर्य को अपना प्रत्याशी बनाया है, जिसके बाद क्षेत्र में नाराजगी बढ़ गई है।

दरअसल, रणवीर जाटव सिंधिया समर्थक माने जाते है। वे साल 2020 में ज्योतिरादित्य सिंधिया के साथ कांग्रेस छोड़ भाजपा में शामिल हुए थे, लेकिन उपचुनाव में उन्हें हार मिली थी। इसके बाद उन्हें 2023 विधानसभा चुनाव में टिकट मिलने की उम्मीद थी लेकिन भाजपा ने लाल सिंह आर्य को टिकट दे दिया। जिसके बाद से उनके समर्थकों में नाराजगी बढ़ गई है। इसी बीच भाजपा कार्यकर्ता और सिंधिया फैंस क्लब के जिला महासचिव जोगेंद्र भीमसेन गुर्जर ने केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया को खून से पत्र लिखकर क रणवीर जाटव को प्रत्याशी बनाए जाने की मांग की है।



खून से लिखा पत्र -

जानकारी के अनुसार, मंगलवार शाम जोगेंद्र भीमसेन गुर्जर ने पैथोलॉजी पर पहुंचकर स्वयं का खून निकलवाया और उसके बाद केंद्रीय मंत्री सिंधिया के नाम खून से एक पत्र लिखा है। उन्होंने लिखा - "सादर प्रणाम महाराज साहब, रणवीर जाटव को टिकट नहीं दिया है। कार्यकर्ताओं का भविष्य खतरे में है। उन्होंने पार्टी को खून पसीने से सीचा है। पत्र में लिखा गया है अन्याय नहीं न्याय चाहिए महाराज साहब रणवीर चाहिए। अंत में नीचे आई लव यू महाराज लिखा गया है।"

2018 में ग्वालियर अंचल में मिली हार -

बता दें कि साल 2018 में ग्वालियर-चंबल अंचल की 34 में से 27 सीटों पर बीजेपी को हार मिली थी। इसके चलते भाजपा सरकार बनाने से महज 7 सीटें दूर रह गई थी। कांग्रेस ने बड़ी जीत हासिल कर सरकार बनाई थी। इस साल 2023 में भी ग्वालियर चंबल अंचल में मध्य प्रदेश में राजनीतिक घमासान होना तय माना जा रहा है। माना जाता है कि जिस दल को इस क्षेत्र में बढ़त हासिल होती है, उसी की सरकार बनती है।

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