अर्थव्यवस्था, लॉकडाउन मुद्दों के बाद राहुल का जीएसटी राजस्व को लेकर केंद्र पर हमला
नई दिल्ली। अर्थव्यवस्था, लॉकडाउन और बेरोजगारी के मुद्दे पर लगातार केंद्र की मोदी सरकार पर निशाना साधने वाली कांग्रेस पार्टी आजकल कृषि कानूनों और वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) राजस्व को लेकर हमलावर है। जीएसटी काउंसिल की पिछली कई बैठकों के बाद भी समाधान नहीं निकलने को लेकर कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने एक बार फिर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को घेरा है। उन्होंने आरोप लगाया है कि ये सरकार तमाम वादों की तरह जीएसटी राजस्व के मामले में भी अपनी बातों से मुकर रही है। इस दौरान उन्होंने आठ हजार करोड़ का विमान खरीदने को फिजूल खर्ची बताते हुए तंज भी कसा।
1. Centre promises GST revenue for States
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) October 12, 2020
2. Economy shattered by PM & Covid
3. PM gives 1.4 lakh Crs tax cuts to Corporates, buys 2 planes for himself for 8400 Crs
4. Centre has no money to pay States
5. FM tells States- Borrow
Why is your CM mortgaging your future for Modi?
राहुल गांधी ने सोमवार को ट्वीट कर कहा, ''केंद्र सरकार ने राज्यों से जीएसटी राजस्व देने का वादा किया। इस बीच कोरोना महामारी और प्रधानमंत्री के अजीब फैसलों से अर्थव्यवस्था ठप हो गई। पीएम मोदी ने 1.4 लाख करोड़ का टैक्स कट कॉरपोरेट को दिया, खुद के लिए 8400 करोड़ के दो प्लेन खरीदे। अब जब केंद्र के पास राज्यों को देने के लिए पैसा नहीं है तो वित्तमंत्री जी राज्यों को कहती हैं कि उधार लीजिए।''
उन्होंने कहा कि जब आपको कोई वादा पूरा ही नहीं करना था तो लोगों को उम्मीदें देते क्यों हैं। उन्होंने सवाल किया कि आखिर पीएम मोदी के लिए आपके मुख्यमंत्री अपना भविष्य क्यों गिरवी रख रहे हैं? उल्लेखनीय है कि जीएसटी के पास होने के समय केंद्र की ओर से राज्यों को जीएसटी कलेक्शन का हिस्सा देने की बात कही गई थी लेकिन काफी वक्त से राज्यों का कलेक्शन केंद्र के पास अटका हुआ है। ऐसे में अब कोरोना संकट और जीडीपी में गिरावट की वजह से सरकार राजस्व भुगतान नहीं कर पा रही है। अब जब राज्यों की ओर से राजस्व देने का दबाव बनाया गया तो केंद्र की ओर से उधार लेने की बात कही गई, जिससे राज्य अपना खर्च चला सकें। इसी मसले पर अब केंद्र और राज्य के बीच जीएसटी बैठक में खींचतान जारी है। हालांकि कई राज्यों ने उधार लेने के सरकार के विकल्प को ठुकरा दिया है।