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छाछ या फिर लस्सी...गर्मी के मौसम में दही से बना कौन सा पेय शरीर के लिए करेगा अमृत का काम

दोनों के गुणों में है इतना अंतर जान कर हो जाएंगे हैरान

छाछ या फिर लस्सी...गर्मी के मौसम में दही से बना कौन सा पेय शरीर के लिए करेगा अमृत का काम
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जैसे-जैसे चिलचिलाती गर्मी का मौसम शुरू होता है वैसे ही हमारे शरीर में कुछ तरल और ठंडा पीने की इच्छा अधिक होने लगती है। ऐसे में पारंपरिक भारतीय पेय पदार्थों की सूची की बात करें तो दो दही-आधारित पेय गर्मी से राहत पाने के लिए लोकप्रिय विकल्प के रूप में सामने आते हैं: छाछ और लस्सी। ये दोनों दही से बनाए जाते हैं, जिनमें अद्वितीय गुण और स्वास्थ्य लाभ होते हैं। इन पारंपरिक दही-आधारित पेय को अपने आहार में शामिल करने से न केवल आपको गर्मी से बचने में मदद मिलती है, साथ ही आपके स्वास्थ्य को भी लाभ पहुंचाएगा। लेकिन गर्मी के दिनों में क्या ज्यादा फायदेमंद होता है?

छाछ: शीतलता देने वाला अमृत

छाछ गाँवों का प्रसिद्ध पेय है, जो आसानी से घर में बन जाता है। इसके सेवन से पेट की जलन, एसिडिटी, कब्ज़ इत्यादि दूर हो जाती है। यह गर्मी में सर्वश्रेष्ठ पाचक का काम कर, हमारी पाचन शक्ति को मज़बूत बनाता है। इसे दही को पानी के साथ पतला करके और जीरा, नमक और पुदीना जैसे मसाले डालकर बनाया जाता है। यह अपने शीतलतापूर्ण गुणों और पाचन लाभों के लिए जाना जाता है, जिससे यह गर्मियों के दौरान भारतीय घरों में मुख्य भोजन बन जाता है।छाछ पसीने के माध्यम से खोए गए तरल पदार्थ को फिर से भरने में मदद करता है, आपको हाइड्रेटेड रखता है और गर्म दिनों के दौरान निर्जलीकरण को रोकता है।

पाचन सहायता: छाछ में मौजूद प्रोबायोटिक्स पाचन में सहायता करके और आंत वनस्पति के स्वस्थ संतुलन को बनाए रखकर आंत के स्वास्थ्य को बढ़ावा देते हैं। पाचन में सहायता करने और सूजन और अपच जैसी पाचन संबंधी समस्याओं को कम करने के लिए अक्सर भोजन के बाद इसका सेवन किया जाता है।

शीतल प्रभाव: छाछ के शीतल प्रभाव का श्रेय इसके पुदीना और जीरा जैसे तत्वों को दिया जाता है, जिनमें प्राकृतिक शीतल गुण होते हैं। यह शरीर के तापमान को कम करने और भीषण गर्मी से राहत दिलाने में मदद करता है।

लस्सी

अगर बात करें लस्सी की तो मीठे से लेकर नमकीन तक विभिन्न स्वादों में बनाई जाती है। इसे दही को पानी के साथ मिलाकर और चीनी या नमक के साथ-साथ फलों, मसालों या जड़ी-बूटियों जैसे स्वादों को मिलाकर बनाया जाता है। लस्सी न केवल स्वादिष्ट होती है बल्कि कई स्वास्थ्य लाभ भी देती है।

पोषक तत्वों से भरपूर: लस्सी कैल्शियम, प्रोटीन, विटामिन और प्रोबायोटिक्स जैसे आवश्यक पोषक तत्वों से भरपूर होती है, जो इसे एक पौष्टिक पेय पदार्थ बनाती है। इसे फलों या मेवों के साथ डालकर पीने से इसकी पोषण क्षमता और अधिक हो जाती है, जिससे अतिरिक्त विटामिन और खनिज मिलते हैं।

एनर्जी बूस्टर: लस्सी में मौजूद कार्बोहाइड्रेट त्वरित ऊर्जा वृद्धि प्रदान करते हैं, जिससे यह गर्मी के दिनों में या शारीरिक गतिविधियों के बाद ऊर्जा के स्तर को फिर से भरने के लिए एक शानदार पेय बन जाता है।

पाचन स्वास्थ्य: छाछ के समान, लस्सी में प्रोबायोटिक्स होते हैं जो आंत के स्वास्थ्य को बढ़ावा देते हैं और पाचन में सहायता करते हैं। यह पाचन संबंधी परेशानी को कम करने और समग्र पाचन क्रिया को बेहतर बनाने में मदद कर सकता है।

कौन सा अधिक फायदेमंद है?

छाछ और लस्सी के बीच चयन करना व्यक्तिगत प्राथमिकताओं और स्वास्थ्य लक्ष्यों पर निर्भर करता है। यदि आप हाइड्रेटिंग और पाचन गुणों वाले हल्के और ताज़ा पेय की तलाश में हैं, तो छाछ सबसे अच्छा विकल्प है। इसकी ताजगी और तीखा स्वाद प्यास बुझाने के साथ पेट को आराम देगा।

वहीं दूसरी ओर यदि आप पोषक तत्वों और ऊर्जा से भरपूर मलाईदार और स्वादिष्ट पेय पसंद करते हैं, तो लस्सी एक आदर्श विकल्प है। चाहे आप फलों के साथ मीठी लस्सी चुनें या मसालों के साथ नमकीन लस्सी दोनों से आप इसके स्वाद और स्वास्थ्य वर्धक गुणों का आनंद ले सकेंगे।

Updated : 2 May 2024 1:35 PM GMT
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Swadesh Digital

स्वदेश वेब डेस्क www.swadeshnews.in


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