भारत और डेनमार्क के रजत धरोहरों की अनूठी प्रदर्शनी शुरू
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नईदिल्ली/वेब डेस्क। राष्ट्रीय संग्रहालय में सोमवार को डेनमार्क और भारत की चांदी की कलाकृतियों और आभूषणों की लगाई गई प्रदर्शनी का उद्घाटन डेनमार्क के राजा और रानी ने किया। इस मौके पर विदेश राज्य मंत्री मीनाक्षी लेखी और डेनमार्क के विदेश मंत्री लार्स लोक्के रासमुसेन मौजूद थे।
इस प्रदर्शनी में दोनों देशों के 250 से ज्यादा चांदी की बनी कलाकृतियों को प्रदर्शित किया गया है, जिसको रोचक तरीके से पांच विषयों में विभाजित किया गया है। प्रदर्शनी की खास बात यह है कि इसमें सिंधु घाटी सभ्यता की चांदी से बनी मोतियों की माला को खास जगह दी गई है। इसके साथ इस प्रदर्शनी में मध्यकालीन चांदी के सिक्के, चांदी से बनी मूर्तियां, आभूषण, उत्कृष्ट कारीगरी से सजे हुक्के, इत्रदान, पानदान, शामिल हैं। वहीं, डेनमार्क से आए कलेक्शन में 16वीं शताब्दी की ऐतिहासिक धरोहर शामिल हैं, इनमें चांदी से बनी बाइबल के कवर, आभूषण, इत्रदान, चांदी के बर्तन, कटलरी, चॉकलेट सेट शामिल हैं।
इस मौके पर विदेश एवं संस्कृति राज्य मंत्री मीनाक्षी लेखी ने कहा कि डेनमार्क और भारत के रजत धरोहर नाम से प्रदर्शनी दोनों देशे के बीच मैत्री को संस्कृति रूप से और मजबूत करेगा। यह प्रदर्शनी एक अवसर है जहां दोनों देश एक दूसरे की समृद्ध संस्कृति को करीब से जान सकेंगे और द्विपक्षीय संबंधों को और मजबूती प्रदान करेंगे। राष्ट्रीय संग्रहालय में लगाई गई रजत धरोहर प्रदर्शनी 28 फरवरी से आम लोगों के लिए खोल दिया जाएगा। लोग सुबह दस बजे से शाम 6 बजे तक इसका अवलोकन कर सकेंगे। यह प्रदर्शनी 31 अप्रैल तक चलेगी।