लंदन में नवाज शरीफ से मिले बिलावल भुट्टो, सहयोगी दलों ने शहबाज पर उठाएं सवाल
इस्लामाबाद। पाकिस्तान में इमरान खान की सरकार गिराकर शहबाज शरीफ के नेतृत्व में नई सरकार बनाने वाले विपक्ष में सब कुछ ठीक-ठाक नहीं चल रहा है। नए प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ की टीम पर सहयोगी पार्टियों ने ही सवाल खड़े कर दिये हैं। उधर, पूर्व प्रधानमंत्री बेनजीर भुट्टो के पुत्र और नई पाकिस्तान सरकार के शिल्पियों में से एक बिलावल भुट्टो जरदारी ने लंदन में पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ से मुलाकात की है। इस मुलाकात और सहयोगियों द्वारा शहबाज पर उठाए सवालों के बाद पाकिस्तान में मंत्रिमंडल विस्तार की चर्चाएं भी शुरू हो गयी हैं।
पाकिस्तान में पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान की सरकार गिराने के अभियान में पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी) के नेता बिलावल भुट्टो जरदारी खासे सक्रिय थे। इमरान सरकार गिरने के बाद जब पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ के भाई शहबाज शरीफ को प्रधानमंत्री बनाया गया तो माना जा रहा था कि बिलावल सरकार में विदेश मंत्री का ओहदा संभालेंगे। इसके बावजूद मंत्रिमंडल गठन में बिलावल ने स्वयं को इससे दूर रखा। अब उन्होंने गुरुवार को लंदन में पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ से मुलाकात की है। इस मुलाकात के बाद एक बार फिर बिलावल के मंत्री बनने की चर्चाएं शुरू हो गयी हैं।
उधर, शहबाज सरकार के खिलाफ उनके ही सहयोगी दलों ने सवाल खड़े करने शुरू कर दिये हैं। पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी के नेता आसिफ अली जरदारी और जमात उलेमा-ए-इस्लाम (एफ) के नेता मौलाना फजल उर रहमान ने न सिर्फ सरकार में सहयोगी पार्टियों को पर्याप्त स्थान न मिलने पर सवाल उठाए हैं, बल्कि मौलाना फजल ने तो यहां तक कह दिया है कि मौजूदा सरकार एक साल से ज्यादा नहीं चल पाएगी। ये लोग नई सरकार में एमक्यूएम, अवामी पार्टी और बलूच पार्टियों को स्थान नहीं मिलने से नाराज बताए जाते हैं। जरदारी का कहना है कि इमरान सरकार को हटाने में तत्कालीन विपक्ष का साथ देने वाली पार्टियों को सरकार में उचित हिस्सेदारी नहीं मिली है।