हॉलीवुड गायिका मैरी मिलबेन अमृत महोत्सव में होंगी शामिल, गाएंगी राष्ट्रगान
वाशिंगटन। अफ्रीकन-अमेरिकन हॉलीवुड अभिनेत्री एवं प्रसिद्ध गायिका मैरी मिलबेन 10 अगस्त को दिल्ली में भारतीय राष्ट्रगान की प्रस्तुति देंगी। यह कार्यक्रम नई दिल्ली के इंडियन काउंसिल फॉर कल्चरल रिलेशंस की ओर से आयोजित किया जायेगा।
डॉ. मोक्षराज ने मैरी को सिखाया था राष्ट्रगान
प्रसिद्ध गायिका मैरी मिलबेन 09 अगस्त को भारत पहुंचेंगी। सम्पूर्ण विश्व को परिवार मानने के सिद्धांत को प्रमाणित करने में जुटे डॉ. मोक्षराज ने ही मैरी मिलबेन को भारत का राष्ट्रगान एवं ओम जय जगदीश हरे... भजन सिखाया था। इन दोनों वीडियो के वायरल होने के बाद वे देश-दुनिया में रहने वाले करोड़ों भारतीयों में लोकप्रिय हो गईं। जॉर्जटाउन यूनिवर्सिटी एवं जॉर्ज वॉशिंगटन यूनिवर्सिटी में लगभग 17 देशों के विद्यार्थियों को हिन्दी पढ़ा चुके डॉ. मोक्षराज हॉलीवुड की लोकप्रिय गायिका एवं अभिनेत्री मैरी मिलबेन को हिन्दी एवं भारतीय संस्कृति की नि:शुल्क शिक्षा दे रहे हैं। उन्हें भारतीय सांस्कृतिक संबंध परिषद की ओर से भारत की आजादी का अमृत महोत्सव के तहत आयोजित कार्यक्रम के लिए आमंत्रित किया गया है।
17 देशों के छात्रों को पढ़ाया भारतीय संस्कृति का पाठ
डॉ. मोक्षराज का कहना है कि धरती के हर कोने में धड़कने वाला प्रत्येक हृदय सब ओर से प्रेम और सम्मान प्राप्त करना करता है। मनुष्य के मन में जब तक किसी देश, जाति व सम्प्रदाय का भेद नहीं डाला जाता, तब तक वह स्वयं तो आनंदित रहता ही है, बल्कि अन्य लोगों को भी प्रसन्न व सुखी रखता है। डॉ. मोक्षराज ने वसुधैव कुटुम्बकम् के इसी आत्मिक भाव को रूस, चीन, वियतनाम, जापान, इटली, अमेरिका, बांग्लादेश व इंडोनेशिया आदि 17 देशों के छात्रों को हिंदी, संस्कृत व भारतीय संस्कृति पढ़ाते हुए अनुभव किया है।
मैरी मिलबेन ने गाया 'ओम जय जगदीश हरे'
मैरी मिलबेन ने एरिजोना की पहाड़ियों में स्थित एक चर्च में दीपावली, 2020 के अवसर पर जब राजस्थानी केसरिया लहंगा चुनरी पहन दीपदान किया और ओम जय जगदीश हरे... भजन गाया तब उनकी सुरीली व मनोहारी आवाज तथा भक्तिभाव ने अनगिनत लोगों का हृदय जीत लिया था।
जब मिलबेन ने मनाया भारतीय नव-संवत्सर
डॉ. मोक्षराज उन्हें भारत के रीति रिवाजों एवं त्योहारों से भी परिचित कराते रहते हैं, जिसके परिणामस्वरूप गत वर्ष मैरी मिलबेन ने भारतीय नव संवत्सर, युगादि अर्थात् गुड़ी पड़वा पर्व भी मनाया। इस अवसर पर उन्होंने अपने घर में चावल पकाए, घी-शक्कर मिलाया तथा वैदिक मंत्रोच्चारण के साथ उनका सेवन किया था। डॉ. मोक्षराज उन्हें देश की संस्कृति के साथ-साथ भारत के भूगोल तथा इतिहास से भी परिचित कराते रहते हैं।
राजस्थान के निवासी हैं डॉ. मोक्षराज
राजस्थान के भरतपुर में जन्मे तथा अजमेर के निवासी डॉ. मोक्षराज को 2018 में भारत सरकार ने भारतीय राजदूतावास वाशिंगटन डीसी में प्रथम सांस्कृतिक राजनयिक एवं भारतीय संस्कृति शिक्षक बनाकर भेजा था।