आंग सांग सू की सजा पर भारत ने जताई चिंता, कहा- परेशान करने बाली घटना
नईदिल्ली। भारत ने म्यांमार की लोकतांत्रिक नेता आंग सांग सू की को कोर्ट की ओर से चार साल की सजा सुनाए जाने के घटनाक्रम को व्यथित करने वाला बताया है। साथ ही कहा है कि पड़ोसी लोकतांत्रिक देश होने के नाते भारत हमेशा म्यांमार में लोकतांत्रिक बदलावों का लगातार समर्थन करता रहा है।
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने मंगलवार को मीडिया के प्रश्न पर कहा कि हाल के फैसलों (कोर्ट के निर्णय) से व्यथित करने वाले हैं। एक पड़ोसी लोकतंत्र के रूप में भारत म्यांमार में लोकतांत्रिक बदलावों का लगातार समर्थन करता रहा है। हमारा मानना है कि कानून के शासन और लोकतांत्रिक प्रक्रिया को बरकरार रखा जाना चाहिए। उन्होंने आगे कहा कि लोकतांत्रिक प्रक्रिया को कमजोर करने वाले और मतभेदों को बढ़ावा देने वाला कोई भी घटनाक्रम गहरी चिंता का विषय है। हमें पूरी उम्मीद है कि देश के भविष्य को ध्यान में रखते हुए सभी पक्ष वार्ता के जरिए आगे समाधान खोजने का प्रयास करेंगे।
उल्लेखनीय है कि लोकतंत्र समर्थक नेता आंग सांग सू की (75) को म्यांमार में सैन्य तख्ता पलट के बाद हिरासत में लेकर उनके खिलाफ भ्रष्टाचार, कोविड नियमों के उल्लंघन और अंसतोष भड़काने जैसे कई आरोप लगाये गए थे। इन्हीं में एक कुछ आरोपों पर सोमवार को उन्हें चार साल की सजा सुनाई थी।