J&K election: जम्मू- कश्मीर विधानसभा चुनाव में निर्दलीय लड़ेंगे टेरर फंडिंग आरोपी मौलवी सरजन बरकती

जम्मू- कश्मीर विधानसभा चुनाव में निर्दलीय लड़ेंगे टेरर फंडिंग आरोपी मौलवी सरजन बरकती
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जम्मू- कश्मीर में जल्द ही विधानसभा चुनाव होने वाला है। जिसको लेकर एक बड़ी खबर आ रही है कि टेरर फंडिंग का आरोपी मौलवी सरजन बरकती इस बार चुनाव लड़ेगा।

जम्मू- कश्मीर में जल्द ही विधानसभा चुनाव होने वाला है। यह चुनाव इसीलिए खास है क्योंकि धारा 370 हटने के बाद यहां पहली बार विधानसभा चुनाव होने जा रहा है। चुनाव को लेकर पार्टियों ने अपने अपने उम्मीदवारों की लिस्ट जारी शुरू कर दी है। इस चुनाव में जेल में बंद आरोपी मौलवी सरजन बरकती भी निर्दलीय चुनाव लड़ने का ऐलान किया है। उन्होंने अपनी बेटी को इस चुनाव का प्रचार करने के लिए मैदान में उतारा है। रिपोर्ट्स के मुताबिक मौलवी सरजन बरकती ने खुद इस बात का ऐलान किया कि वो इस बार चुनाव लड़ेंगे।

जानिए कौन है मौलवी सरजन बरकती?

मौलवी सरजन बरकती की बात करें तो हिजबुल मुजाहिदीन के कमांडर बुरहान वानी की मौत के बाद हुए प्रदर्शन में सबसे बड़ा चेहरा मौलवी सरजन बरकती का ही था। उस समय हुए प्रदर्शन में मौलवी सरजन बरकती ने जमकर हंगामा किया था। कश्मीर में कई बार भारत के विरोध में हुई गतिविधियों के लिए मौलवी सरजन बरकती ही जिम्मेदार रहा है। इस बार विधानसभा चुनाव में इसका नामंकन इसकी बेटी ने ही करवाया। मौलवी सरजन बरकती जेल से चुनाव लड़ेगा। मौलवी सरजन बरकती के ऊपर टेरर फंडिंग का भी आरोप लगा हुआ है।

राशिद ने भी लड़ा था चुनाव

मौलवी सरजन बरकती की तरह ही लोकसभा चुनाव में राशिद ने चुनाव लड़ा था और जीत भी हासिल की थी। टेरर फंडिंग के आरोप में राशिद भी जेल में बंद था। पेशे से रशीद इंजीनियर था। राशिद ने लोकसभा चुनाव में बारामूला से नामांकन दाखिल किया था जहाँ पर इसने पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला को हराया था। अब इसी की राह पर मौलवी सरजन बरकती भी निकल पड़े हैं। राशिद के समय उनका चुनाव प्रचार उनके बेटे अबरार ने किया था।

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