एटा में खुदाई में मिला 1500 वर्ष पुराना मंदिर
राजा का रामपुर क्षेत्र के बिल्सड़ गांव में खुदाई के दौरान निकले गुप्त कालीन अवशेषों में स्तम्भ और सीढ़ियों का दृश्य।
एटा/वेब डेस्क। जनपद की तहसील अलीगंज के राजा का रामपुर थाना क्षेत्र के ग्राम बिल्सड़ में कुछ समय पूर्व हुई खुदाई के दौरान ही गुप्त कालीन अवशेष मिले थे, लेकिन उसके बाद करीब 5 दिन पहले पुनः खुदाई कराई गई। इसमें प्राचीन काले के कुछ अवशेष प्राप्त हुए हैं। प्राप्त अवशेष को देखने से ऐसा प्रतीत हो रहा है कि ये अवशेष गुप्त कालीन या कुषाण कालीन सभ्यता को दर्शाते हैं।
प्राप्त जानकारी के अनुसार विल्सड़ में एक स्थान पर खुदाई कार्य किया गया। खुदाई के दौरान एक प्राचीन काल का स्तम्भ नुमा आकृति दिखी तो उसे छोड़कर अगल बगल की जमीन की खुदाई कराई गई। पांच दिन तक खुदाई कार्य चलता रहा। जमीन से लगभग 10 से 12 फीट मिट्टी निकाल दी गई, लेकिन उस खम्भे का अन्त नही मिला। लेकिन खुदाई के समय खम्भे के आस-पास 5वीं शताब्दी के मंदिर की सीढ़ियां, चबूतरा और शंख लिपि में शिलालेख और कुछ प्राचीन वस्तुएं मिली। जिसे देखकर आस पास लोग पूजा अर्चन करने लगे।
वर्गाकार आकृति के उक्त खम्भे की जुड़ाई पथर की गई है। वर्षाे मिट्टी में दबे रहने के बावजूद खम्भे की चुनाई इतने मजबूत मशाले से की गई है कि ईट को स्तम्भ से आसानी से नही निकाला जा सकता है। इतिहास के जानकारों का कहना है कि ईट व स्तम्भ को देखने से ऐसा लगता है कि ये गुप्त कालीन या कुषाण कालीन बौद्ध विहार या राजमहल का प्रवेश द्वार पर बना स्तम्भ है।
पांचवी सताब्दी के मंदिरों के अवशेष मिलने पर भारतीय पुरातत्व विभाग हरकत में आया, स्थानीय जिला प्रशान के अधिकारियों के साथ एएसआई की टीम ने जनपद के विल्सड गांव का निरीक्षण किया। खुदाई में निकले अवशेषों का परीक्षण कर उनके लिए एक स्मारक बनाने की बात कही। अलीगंज के उपजिलाधिकारी एसपी वर्मा ने बताया कि ये अवशेष राष्ट्रीय महत्व के हैं, जिनसे यह पर्यटन और रोजगार के नए अवसर पैदा होंगे। गुप्त कालीन 5वीं शताब्दी के मंदिरों के अवशेष मिलने पर अब एटा का ग्राम बिल्सढ़ भारतीय पर्यटन के फलक पर जाना जाएगा। इसका पर्यटन स्थल के रूप में विकास भी होगा जहां पर्यटक गुप्त कालीन स्थापत्य कला और इतिहास को जान सकेंगे।