गुटबाजी और मतभेद की भेंट चढ़ गई कांग्रेस की "भारत जोड़ो - लोकतंत्र बचाओ" रैली
सतना/वेब डेस्क। स्थानीय बीटीआई ग्राउंड में आयोजित कांग्रेस पार्टी की भारत जोड़ो, लोकतंत्र बचाओ रैली गुटबाजी और मतभेद की भेंट चढ़ गई। पूर्व सांसद स्वर्गीय सुखलाल कुशवाहा की 59 वीं जयंती के उपलक्ष्य में ओबीसी सम्मेलन तथा हाथ से हाथ जोड़ो कार्यक्रम कांग्रेस पार्टी के द्वारा आयोजित किया गया था। विंध्य क्षेत्र के बड़े नेताओं में गिने जाने वाले पूर्व नेता प्रतिपक्ष अजय सिंह राहुल से आयोजकों की आंतरिक टसन का असर इस कार्यक्रम में भी दिखा। वैसे तो इसे अजय सिंह को नीचा दिखाने के तौर पर देखा जा रहा था, लेकिन यह दाव उलटा पड़ गया। जिस प्रकार से स्थानीय कांग्रेसी नेताओं ने बीटीआई के मैदान से दूरी बनाई उससे नेताओ के बीच चल रही रार एक बार फिर सरेआम हो गई। कार्यक्रम स्थल में जितनी भीड़ के हिसाब से व्यवस्था की गई थी उसकी अपेक्षा लोग पहुंचे ही नहीं।
सतना विधायक एवं पिछड़ा वर्ग कांग्रेस के अध्यक्ष सिद्धार्थ कुशवाहा द्वारा आयोजित कार्यक्रम में हिस्सा लेने के लिए पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ सतना पहुंचे। करीब तीन घंटे तक वे सतना में रहे। यहां महारैली को बतौर मुख्य अतिथि संबोधित किया। इस दौरान उन्होंने प्रदेश सरकार की आलोचना करते हुए कहा कि भाजपा के पास केवल दो काम हैं। पहला कमलनाथ में कमियां निकालना दूसरा झूठ बोलना। उन्होंने इस दौरान प्रदेश के विकास पर अपनी राय रखी। बताया जाता है कि राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा के तारतम्य में सतना में यह महारैली आयोजित की गई। जिसमें अजय सिंह राहुल, राजाराम त्रिपाठी और चित्रकूट विधायक नीलांशु चतुर्वेदी की गैरमौजूदगी से सवाल उठते रहे।
मेयर चुनाव की खाई कम नहीं हुई
सतना विधायक सिद्धार्थ कुशवाहा को मेयर की टिकट देने के बाद कांग्रेस नेताओं में तल्खी बढ़ी थी। कुछ ने तो पार्टी से किनारा कर लिया। जबकि कई पार्टी में डब्बू की दखल स्वीकार नहीं कर पा रहे। वहीं डब्बू भी कई मौकों पर उन्हें नीचा दिखाने के अवसर ढृढ़ते रहते हैं। मेयर चुनाव के बाद से चल रही टसल लगातार बढ़ती जा रही है। चूंकि यह कार्यक्रम डब्बू की अगुवाई में हो रहा था यही कारण है कि पूर्व नेता प्रतिपक्ष अजय सिंह को बुलाया नहीं गया। जबकि सीधी के विधायक कमलेश्वर पटेल यहां सक्रिय सहभागिता दिखाते रहे।
अजय सिंह समर्थकों ने किया किनारा
कांग्रेस पार्टी में अजय सिंह राहुल को चाहने वालों की संख्या कम नहीं है। अजय सिंह को कार्यक्रम में महत्व नहीं दिए जाने के चलते ही राहुल समर्थकों ने कार्यक्रम से किनारा कर लिया। हालांकि पार्टी का कोई नेता इस सच को स्वीकारना नहीं चाहता।