देश भर में फ्लॉप रहा रेल रोको अभियान, दिखा नगण्य असर : रेल प्रशासन
नईदिल्ली। कृषि कानूनों के विरोध में संयुक्त किसान मोर्चा ने देश भर में आज रेल रोको अभियान का आह्वान किया था। जिसके चलते पंजाब, हरियाणा, यूपी, बंगाल सहित देश के विभिन्न हिस्सों में किसानों द्वारा ट्रेनें रोकने का प्रयास किया गया। हालांकि देश में कहीं भी बड़े स्तर पर रेल यातायात प्रभावित नहीं हुआ। इसी बीच रेल प्रशासन ने जारी बयान में कहा की देशभर में संचालित हो रही ट्रेनों पर अभियान का नगण्य असर देखने को मिला।सभी जोन में ट्रेनों का संचालन अब सामान्य है। कुछ इलाकों में कुछ ट्रेनें रोकी गई थीं लेकिन अब ट्रेनों का संचालन सामान्य है।
रेलवे बोर्ड के पीआर एडीजी डीजे नारायण ने कहा कि रेल रोको आंदोलन का देश भर में रेलगाड़ियों के परिचालन पर मामूली प्रभाव देखने को मिला। अब सभी जोनों में ट्रेनों की आवाजाही सामान्य है। उन्होंने कहा कि रेलवे के अधिकांश जोन की ओर से आंदोलनकारियों द्वारा किसी भी ट्रेन को रोके जाने की सूचना नहीं दी है। हालांकि कुछ जोनल रेलवे ने कुछ क्षेत्रों में कुछ ट्रेनों को रोक दिया था लेकिन अब ट्रेन परिचालन सामान्य है और ट्रेनों का संचालन सुचारू रूप से किया जा रहा है। रेलवे का कहना है कि रेल रोको आंदोलन से निपटने के लिए उसने अत्यंत धैर्य का इस्तेमाल किया।
20 ट्रेनों को समस्या आई -
उत्तर रेलवे के प्रवक्ता दीपक कुमार ने कहा कि आज किसानों के रेल रोको अभियान की वजह से उत्तर प्रदेश, हरियाणा या पंजाब में रेल सेवाओं पर कोई बड़ा प्रभाव नहीं पड़ा है। उन्होंने बताया कि आंदोलन के कारण उत्तर रेलवे के अधकिार क्षेत्र में आने वाली 650 ट्रेनों में से लगभग 20 ट्रेनों को समस्या आई जिससे थोड़ी देर तक सेवा बाधित हुई। जानकारी के अनुसार, दिल्ली से सटे हरियाणा की सीमा में कई स्टेशनों पर कुछ ट्रेनों को पटरियों पर बैठे किसानों ने कुछ समय के लिए बाधित किया। इनमें केरला एक्सप्रेस को पलवल रोधी के बीच सोलाका का स्टेशन पर रोका गया है। झेलम एक्सप्रेस को बल्लभगढ़ रेलवे स्टेशन पर और उत्कल एक्सप्रेस को फरीदाबाद ओल्ड रेलवे स्टेशन पर रोका गया।