Superme Court on Reservation: SC/ST आरक्षण के अंदर भी हो सकता है अलग से रिजर्वेशन, सुप्रीम कोर्ट का बड़ा फैसला

Superme Court on Reservation: SC/ST आरक्षण के अंदर भी हो सकता है अलग से रिजर्वेशन, सुप्रीम कोर्ट का बड़ा फैसला

देश की सर्वोच्च न्यायालय ने अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति के लिए बड़ा फैसला सुनाया है। सुप्रीम कोर्ट की 6 जजों की बेंच ने फैसला सुनते हुए एससी एसटी आरक्षण के अंदर रिजर्वेशन को मंजूरी दे दी है। यानी अब अनुसूचित जाति और जनजाति वर्ग में जो पिछड़े हुए हैं उनके लिए3 इसी कोटे के अंदर अलग से कोटा बनाया जा सकेगा। जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ की अध्यक्षता वाली बेंच ने माना कि आरक्षण के अंदर आरक्षण देना असमानता के खिलाफ बिल्कुल नहीं है।

कोर्ट ने 2004 के अपने फैसले को पलट दिया है। बता दें, साल 2004 में जस्टिस ईवी चिन्नैया की अध्यक्षता वाली 5 जजों की पीठ ने फैसला दिया था कि एससी/एसटी आरक्षण के तहत अलग से कोटा नहीं बनाया जा सकता। अब कोर्ट ने उसे पलट दिया है।

सर्वोच्च न्यायालय ने 6- 1 से इस फैसले पर मंजूरी जताई है साथ ही कहा है कि हम मानते हैं कि इस वर्ग में कुछ ऐसे भी समुदाय हैं जिन्होंने सदियों से औरों से अधिक प्रताड़ना सही। CJI डीवाई चंद्रचूड़, जस्टिस बीआर गवई, जस्टिस विक्रम नाथ जस्टिस पंकज मित्तल, जस्टिस मनोज मिश्रा और जस्टिस सतीश चंद्र शर्मा ने इस फैसले पर अपनी सहमति जताई जबकि जस्टिस बेला एम त्रिवेदी असहमत रहीं।

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