कर्नाटक औरंगजेब पोस्टर विवाद: औरंगजेब के बैनर लगाने के बाद बेलगावी में तनाव , पुलिस प्रशासन अलर्ट

Karnataka Aurangzeb Banner Uproar

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Belgaum Aurangzeb Poster Controversy : कर्नाटक। बेलगावी के एक आवासीय क्षेत्र में अज्ञात लोगों ने मुगल सम्राट औरंगजेब का एक पोस्टर लगा दिया। इस पोस्टर में औरंगजेब को अखंड भारत का वास्तविक संस्थापक बताया गया। हालांकि सूचना मिलने के साथ ही पुलिस ने इस पोस्टर को हटा दिया, लेकिन तैनाव का माहौल बना हुआ है। सुरक्षा की दृष्टि से इलाके में पुलिस बल की तैनाती की गई है।

ये है पूरा मामला

स्थानीय पुलिस के मुताबिक शनिवार रविवार की देर रात बेलगावी के बॉक्साइट रोड स्थित शाहू नगर सर्किल पर कुछ युवकों द्वारा लगाए गए इस पोस्टर में औरंगजेब को उनकी जयंती के मौके पर "सुल्तान-ए-हिंद" के रूप में सम्मानित किया गया। यह बयान खासा विवादास्पद था, क्योंकि औरंगजेब की प्रतिष्ठा पर हमेशा से विवाद रहा है। पोस्टर में उन्हें "अखंड भारत" का संस्थापक बताया गया, जो कि एक संवेदनशील मुद्दा है। माहौल बिगड़ने के डर से बेलगावी सिटी कॉर्पोरेशन के आदेश पर पुलिस ने तुरंत कार्रवाई करते हुए पोस्टर हटा दिया।

पुलिस ने इस मामले पर कहा कि स्थानीय विरोध के बीच बैनर को हटा दिया और पूरे इलाके में सुरक्षा बढ़ा दी। निवासियों ने बैनर पर गुस्सा जताया और सांप्रदायिक झड़पों को भड़काने के प्रयास के रूप में जिम्मेदार लोगों के खिलाफ त्वरित कार्रवाई की मांग की। हालांकि, जैसे ही तनाव कम होता दिखाई दिया, दूसरे समुदाय के युवकों ने बैनर हटाए जाने का विरोध करने के लिए सोशल मीडिया पर फिर एक विवादित पोस्ट साझा कर दी। इस पोस्ट में सवाल किया कि औरंगजेब का बैनर क्यों हटा दिया गया जबकि हिंदू राष्ट्रवादी नेता वीर सावरकर के बैनर को छुआ तक नहीं गया। उन्होंने चेतावनी दी कि वे अपने बैनर को हटाए जाने को बर्दाश्त नहीं करेंगे।

बेलगावी में कानून और व्यवस्था के लिए डिप्टी कमिश्नर रोहन जगदीश ने एक बयान जारी किया। जिसमें कहा गया है कि, 3 नवंबर को औरंगजेब का जन्मदिन पर कुछ व्यक्तियों ने बिना अनुमति के सार्वजनिक संपत्ति पर पोस्टर लगाए। निगम ने उन्हें हटा दिया है। उन्होंने आगे कहा कि, पुलिस रिपोर्ट भी दर्ज की गई है और वे जिम्मेदार लोगों की पहचान की जा रही है।

बीजेपी ने इस मामले पर तीव्र प्रतिक्रिया देते हुए आरोपियों की जल्द गिरफ्तारी की मांग की है। पार्टी का कहना है कि इस तरह की बयानबाजी से सामाजिक सौहार्द और भाईचारे को नुकसान पहुंच सकता है। पुलिस मामले की जांच कर रही है और इस घटना को लेकर सख्त कदम उठाने का आश्वासन दिया गया है।

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