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मप्र में भारत जोड़ो यात्रा को बड़ा झटका, कमलनाथ के करीबी ने थामा बीजेपी का दामन
भोपाल / वेब डेस्क। मध्य प्रदेश में पहुँचते ही तीसरे दिन भारत जोड़ो यात्रा को सुबह-सुबह एक बड़ा झटका लगा है। जिसमें मप्र के पूर्व मुख्यमंत्री के करीबी कही जाने वाले इंदौर निवासी कांग्रेस मीडिया प्रभारी एवं प्रवक्ता नरेंद्र सलूजा ने भारत जोड़ो यात्रा के दौरान उन्होंने कांग्रेस पार्टी को छोड़कर बीजेपी में जाने का बड़ा फैसला लिया है। जिसमे उन्होंने मुख्यमंत्री आवास पर बीजीपी की सदस्य्ता लेते हुए कांग्रेस पार्टी को एक बड़ा झटका दिया है। जानकारी के अनुसार पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ के करीबी कहे जाने वाले नरेंद्र सलूजा जो की काफी लम्बे समय से कांग्रेस पार्टी से जुड़े हुए थे। कांग्रेस पार्टी के द्वारा मीडिया विभाग के पुनर्गठन के दौरान पैनल में जगह न मिलने पर नरेंद्र सलूजा ने नाराजगी जताई थी। जिसे लेकर उन्हें जगह भी दी गयी थी। गुरुनानक जयंती पर इंदौर के खालसा कॉलेज में कार्यक्रम था। इसमें कमलनाथ भी गए थे। वहां कीर्तनकार इस बात से भड़क गए थे।
अपमानित कर कमलनाथ को वहां से निकल जाने को मजबूर किया गया। इसे लेकर कमलनाथ ने नरेंद्र सलूजा को हटा दिया था। खालसा कॉलेज विवाद की वजह से राहुल गांधी के इंदौर प्रवास के दौरान पड़ाव का स्थल भी बदलना पड़ा जिसके बाद इंदौर में सिक्ख समुदाय के द्वारा हुए कार्यक्रम के दौरान कमलनाथ का विरोध भी किया गया।
नरेंद्र सलूजा का कहना है की इंदौर खालसा कॉलेज में हुए घटनाक्रम के बाद 84 दंगों का जो सच सामने आया, उससे मेरा मन व्यथित था। मैं जिस धर्म में आस्था रखता हूं, उस धर्म के लोगों की हत्या के आरोपियों के साथ मैं काम कर रहा था। इस सच ने मेरी आंखें खोल दी। मैं ऐसे संगठन के साथ कार्य नहीं कर सकता, जिस पर मेरे अपने लोगों की हत्या के आरोप हैं। जिसके बाद से उन्होंने कांग्रेस सम्बंधित कोई पोस्ट नहीं की। जिसे लेकर सीएम शिवराज सिंह ने उनकी भाजपा में सदस्य्ता को खास बनाने के लिए सीएम हाउस में यह कार्यक्रम आयोजित किया। जिसमें उन्होंने खुद ही सलूजा को सदस्यता दिलाई एवं सदस्यता लेने के बाद सलूजा भारत जोड़ो यात्रा में शामिल न होने का जिक्र करते हुए कहा की एक कार्यकता के रूप में बीजेपी में शामिल हुआ हूं। वहीं मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि नरेंद्र सलूजा जी ऐसे नेता हैं जो अपने तर्कों और तथ्यों के आधार पर अपनी बात रखते हैं, उनका भाजपा परिवार की ओर से ह्रदय से स्वागत है।
इन्होने कहा
कांग्रेस का दावा है की उन्हें ये जानकारी पहले से थी की सलूजा दूसरी पार्टी के संपर्क में रहे थे एवं उनकी इन गतिविओधियों की सूचना का पता चलते ही सलूजा को 13 नवंबर को पार्टी से निष्कासित कर दिया गया था एवं यह भी कहा की सलूजा कोई इतना बड़ा नाम नहीं है जिससे की कांग्रेस को बहुत फर्क पड़े और उनकी कोई निजी तौर पर राजनीतिक पहचान भी नहीं है। कांग्रेस पार्टी का कहना है कि पार्टी में प्रतिबद्ध और अनुशासित कार्यकर्ताओं का पूरा सम्मान है, लेकिन अनुशासनहीनता और गद्दारी करने वाले व्यक्तियों के लिए कांग्रेस पार्टी में कोई जगह नहीं है।