बारिश से पहले स्वर्ण रेखा नदी में खड़े होंगे चार-चार मीटर के पिलर

बारिश से पहले स्वर्ण रेखा नदी में खड़े होंगे चार-चार मीटर के पिलर
X
एलिवेटेड रोड के लिए निर्माण एजेंसी कर रही है तेजी से काम

ग्वालियर,न.सं.। स्वर्ण रेखा नदी पर पहले चरण में 447 करोड़ रुपए की लागत से बनने वाले साढ़े छह किमी लंबे एलिवेटेड रोड का काम तेजी से किया जा रहा है। इस रोड के निर्माण के लिए बारिश से पहले स्वर्ण रेखा नदी में पिलर खड़े करने का काम तेजी से किया जा रहा है। ताकि बारिश के दौरान काम में कोई रुकावट न हो। पिलर बनने के बाद इन पर ही स्पान टिका होगा। ऐसे में इन पिलर को चार-चार मीटर चौड़ा बनाया जा रहा है। रोड निर्माण के लिए अधिकृत की गई एजेंसी भी तेजी से काम कर रही है।

यहां बता दे कि पहले चरण में वीरांगना रानी लक्ष्मीबाई समाधि स्थल के पास से ट्रिपल आईटीएम तक 6.5 किलोमीटर लंबाई में एलिवेटेड रोड का निर्माण किया जाएगा। अभी ट्रिपल आईटीएम के पास पिलरों को खड़ा किया जा रहा है। इसके बाद रोड के लिए पिलरों का निर्माण किया जाएगा। यह पिलर चार मीटर चौड़े होंगे। वहीं पिलरों का निर्माण कर उनकी बेस मजबूती के लिए उसकी गुणवत्ता व भार क्षमता का परीक्षण किया जाएगा। नींव की मजबूती के लिए पायलिंग यानी कुएं के आकार का फाउंडेशन भी बनाया जा रहा है। ट्रिपल आईटीएम की ओर से कार्य शुरू किया है जो फूलबाग स्थित लक्ष्मीबाई समाधि स्थल पर जाकर खत्म होगा। एलिवेटेड रोड बनाने का कार्य गुजरात की कंपनी द्वारा किया जा रहा है।

कुल लागत होगी 885.90

स्वर्ण रेखा नदी पर प्रस्तावित एलिवेटेड रोड के दूसरे चरण में फूलबाग से एबीरोड तक शहर की मुख्य सडक़ों से यातायात परिवर्तित करने के लिए सिंगल लूप बनाए जाएंगे। दूसरे चरण में इस रोड का निर्माण 885.90 करोड़ की लागत से किया जाएगा। जिसमें केन्द्र ने 778.14 करोड़ रूपए स्वीकृत भी कर दिए है। वहीं राज्य योजना मद के अंतर्गत 107.78 करोड़ मिलेंगे।

शहर की मौजूदा सडक़ पर उतरने का मिलेगा मौका

स्वर्ण रेखा नदी पर तैयार होने वाली एलिवेटेड रोड को शहर के प्रमुख मार्गों के साथ जोड़ा जाएगा। ताकि, वहां से एलिवेटेड रोड पर जाने और शहर की मौजूदा सडक़ पर उतरने का रास्ता मिल सके। ये कनेक्टिविटी जीवाजीगंज, छप्परवाला पुल, फूलबाग पर लक्ष्मीबाई समाधि और हजीरा क्षेत्र से दी जाएगी। इन स्थानों पर ट्रैफिक लोड काफी रहता है, साथ ही यहां से लोग दूसरे रास्तों के लिए डायवर्ट भी होते हैं। एलिवेटेड रोड हनुमान बांध से शुरू होकर तारागंज, जनकगंज, गेंड़ेवाली सडक़, शिंदे की छावनी, फूलबाग, तानसेन नगर, रानीपुरा, हजीरा, मछली मंडी रोड से होते हुए जलालपुर तक बनेगी।

एलिवेटेड रोड बनने की प्रक्रिया को इस तरह समझें

- दूसरे चरण में 7.42 किमी मार्ग में 200 से 225 पिलर खड़े किए जाएंगे।

- मेट्रो की तर्ज पर निर्माण कार्य किया जाएगा और पिलर खड़े होते ही सडक़ बिछाई जाएगी।

- 14.7 किलोमीटर लंबे इस एलिवेटेड रोड पर विद्युत की व्यवस्था भी होगी।

- एलिवेटेड रोड में फोर लेन सडक़ का निर्माण किया जाएगा।

- एलिवेटेड रोड में सडक़ों के बीच डिवाइडर भी लगाए जाएंगे।

- सुरक्षा के लिए एलिवेटेड रोड के दोनों ओर मजबूत दीवार भी बनाई जाएगी।

- हनुमान बांध के ऊपर से होते हुए एलिवेटेड रोड सीधे गिरवाई से निकलकर सीधे हाइवे से मिलाई जाएगी।

- 2.5 मीटर की दूरी पर पिलर खड़े किए जाएंगे।

परियोजना की लागत का विवरण

-कोरीडोर के मुख्य भाग की लागत- 441.251 करोड़

-विभिन्न लूपों की लगात-184.446 करोड़

-मीडियम ब्रिज की लागत-2.562 करोड़

-विद्यमान पुलों के चौड़ीकरण की लागत-6.595 करोड़

-जीएसटी 18 प्रतिशत-114.339 करोड़

-विद्युत लाइनों का विस्थापन एवं फ्लाई ओवर का विद्युतीकरण-16.97 करोड़

-सीवर/ पानी की लाइन विस्थापन-2.05 करोड़

-भू-अर्जन एवं पुर्नस्थापन कार्य लागत-107.76 करोड़

यातायात व्यवस्था में होगा सुधार

स्वर्ण रेखा नदी शहर के बीचों-बीच से गुजरती है। लश्कर के साथ उपनगर ग्वालियर के बड़े क्षेत्र को जोड़ती है। नदी के बीच वाले हिस्से पर कॉलम खड़े करके ये एलिवेटेड रोड तैयार की जाएगी। 4 लेन वाले इस रोड के स्लैब 4 मीटर चौड़े पिलर पर तैयार होंगे। इसके तैयार होने पर गिरवाई व कंपू क्षेत्र को फूलबाग और उपनगर ग्वालियर, जलालपुर तक के लिए बहुत अच्छी रोड कनेक्टिविटी मिल जाएगी।

इनका कहना है

एलिवेटेड रोड के लिए कार्य चल रहा है। बारिश से पहले पिलरों को तैयार किया जाएगा, ताकि बारिश में कोई काम न रुके।

जीवी मिश्रा, कार्यपालन यंत्री

सेतु संभाग

लोक निर्माण विभाग


Tags

Next Story