राविन हुड आर्मी और वाटर सेफ आर्मी ने लिया ग्वालियर की नदियों एवं बांधों को स्वच्छ करने का संकल्प
ग्वालियर। तीसरा विश्व युद्ध होने से बचाना है तो जल संरक्षण की दिशा में समाज को आगे बढ़ना होगा। पानी बचाने की मुहिम जल आंदोलन को जन आंदोलन बनाना चाहिए। पानी की जरूरत सबको है। सब लोगों को इसके बारे में विचार करने की जरुरत है। ये बातें जल संरक्षण के लिए खेत पर मेड़ और मेड़ पर पेड़ का मंत्र पूरे देश को देने वाले पद्मश्री उमा शंकर पांडे ने दो दिवसीय राष्ट्रीय जल सम्मेलन में ग्वालियर आईआईटीटीएम में कही। बैसली नदी पुनर्जीवन कार्यक्रम में जल संरक्षण के क्षेत्र में पद्मश्री पुरस्कार से सम्मानित उमाशंकर पाण्डेय ने राविन हुड आर्मी ग्वालियर को समाज के हित में कार्य करने के लिए सम्मानित किया गया। राविन हुड आर्मी फूड वेस्टेज और स्लम एजुकेशन पर कई सालों से कार्य कर रही है। ग्वालियर में सिटी हेड रामा पाण्डेय और विकास शर्मा के निर्देशन में किया जा रहा है। इस अवसर पर राविन हुड आर्मी से सनोज अग्रवाल, चंदन, शालिनी, शिवांग, दीक्षा, मनीष, हिमांशु, भरत, भारती, उज्जवल, अंकित, कोमल, हरिप्रिया, रितेश, रामा और विकास मुख्य रूप से मौजूद रहे। राविन हुड आर्मी और वाटर सेफ आर्मी ने भविष्य में ग्वालियर की नदियों और बांधों को साथ मिलकर साफ करने का संकल्प भी लिया।
समाज जल संरक्षण की दिशा में करे काम-
पद्मश्री पांडे ने बताया मेरी मां मेरी गुरु है। पूर्व राष्ट्रपति एपीजे अब्दुल कलाम ने पानी बचाने का विचार दिया था। उनके विचार पर संघर्ष करना शुरू किया, तो भारत रत्न नानाजी देशमुख और आचार्य विनोबा भावे से प्रेरणा लेते हुए 20 साल की उम्र से यह काम कर रहा हूँ। मैं समाज को जल संरक्षण की दिशा में काम करने के लिए हमेशा कहता रहूँगा क्यूंकि जल ही जीवन है।