माल ढुलाई में सहायक होगी तीसरी लाइन, मुंबई तक 160 किमी की रफ्तार से दौड़ेंगी ट्रेनें
ग्वालियर,न.सं.। मथुरा से बीना के बीच बिछाई जा रही तीसरी लाइन रेलवे के दिल्ली-मुंबई रूट पर प्रस्तावित मिशन रफ्तार में सहायक होगी। रेलवे द्वारा इस मार्ग पर लगातार 160 किमी प्रतिघंटे की रफ्तार से ट्रेनें संचालित करने की योजना बनाई गई है। तीसरी लाइन शुरू कर रेलवे का मुख्य ध्यान माल ढुलाई पर है। ढुलाई से रेलवे वन ट्रिलियन डालर इकोनोमी के लक्ष्य में सहयोग करेगा। वर्तमान में मौजूद दो लाइनों पर ट्रेनों का ट्रैफिक 130 प्रतिशत है। तीसरी लाइन शुरू होने से यह ट्रैफिक डायवर्ट किया जाएगा। इसके अलावा 10 से 15 नई ट्रेनें भी शुरू की जा सकेंगी।
अगस्त 2016 में प्रधानमंत्री की अध्यक्षता वाली आर्थिक मामलों की कैबिनेट कमेटी (सीसीइए) ने मथुरा से झांसी के बीच 273.80 किलोमीटर और झांसी से बीना के बीच 152.57 किलोमीटर की तीसरी रेल लाइन को मंजूरी दी थी। तीसरी नई रेल लाइन बिछाने में मथुरा-झांसी के बीच 4377 करोड़ और झांसी-बीना के मध्य 2490 करोड़ रुपये की लागत आ रही है। इसमें रेल विकास निगम लिमिटेड मथुरा से झांसी के बीच, झांसी से ललितपुर के बीच रेलवे का निर्माण संगठन और ललितपुर व बीना के बीच इंजीनियरिंग विभाग द्वारा नया ट्रैक बिछाने का काम किया जा रहा है। इस परियोजना की समय सीमा दिसंबर 2023 निर्धारित की गई है। वर्तमान में इस परियोजना के तहत सबसे पहले भांडई से धौलपुर और उसके बाद बानमोर से मुरैना व ग्वालियर सेक्शन में काम पूरा हो चुका है। इन तीनों ही सेक्शन पर अब तीसरी लाइन पर गाडिय़ां दौड़ाई जा रही हैं। कुल मिलाकर वर्तमान में झांसी से मथुरा के बीच 274 किलोमीटर लंबी तीसरी लाइन का काम 85 फीसद पूरा हो गया है। इसमें से 105 किमी ट्रैक का कार्य अभी अधूरा है।
चौथी लाइन की भी चल रही तैयारी
रेल बजट 2022-23 में मथुरा से लेकर बीना तक 428.80 किलोमीटर का ट्रैक बिछाया जाना है। इस कार्य के लिए बजट में छह हजार 818 करोड़ 95 लाख रुपये की राशि आवंटित भी की गई है। चौथी रेल लाइन का काम तीन चरण में पूरा किया जाना है। इसके पहले चरण में मथुरा से धौलपुर के बीच 107 किलोमीटर लंबा चौथा ट्रैक दो हजार 949 करोड़ 95 लाख रुपये की लागत बिछाया जाएगा। वहीं दूसरे चरण में झांसी मंडल के धौलपुर-झांसी-बीना के बीच 321.80 किलोमीटर का ट्रैक चार हजार 869 करोड़ रुपये की लागत से पूरा किया जाएगा।
धौलपुर से मुरैना तक तीसरी रेल लाइन का काम अभी प्रगति पर है। चंबल ब्रिज का काम पूरा होने के बाद यह तीसरी लाइन भी जुड़ जाएगी। अभी मुरैना से हेतमपुर तक काम चल रहा है। वहीं हेतमपुर तक जून 2023 तक काम पूरा हो जाएगा। वहीं हेतमपुर से धौलपुर तक तीसरी लाइन का काम दिसंबर 2023 तक पूरा हो जाएगा।
गति के हिसाब से अलग-अलग ट्रैक पर चलेंगी ट्रेनें
रेलवे की योजना के मुताबिक वर्तमान में दो लाइनों पर अलग-अलग गति की ट्रेनों का संचालन होता है। इसमें सुबह व शाम के समय आगरा-वीरांगना लक्ष्मीबाई झांसी स्टेशन के बीच पैसेंजर भी पटरियों पर दौड़ती हैं और शताब्दी एक्सप्रेस जैसी लक्जरी ट्रेन भी। इसके अलावा मालगाडिय़ां भी सामान लेकर जाती हैं। दो लाइन होने के कारण रेलवे के अधिकारियों को प्राथमिकता के आधार पर पैसेंजर ट्रेन को रोककर शताब्दी या मालगाड़ी को निकालना पड़ता है। तीसरी व चौथी लाइन तैयार होने से दो ट्रैक पूरी तरह से मालगाडिय़ों और शताब्दी, राजधानी, गतिमान जैसी तेज रफ्तार एक्सप्रेस ट्रेनों के लिए होंगे। बाकी दो ट्रैक पर अपेक्षाकृत कम रफ्तार वाली मेल व पैसेंजर ट्रेनें दौड़ाई जाएंगी।
वर्तमान में यह है तीसरी लाइन की स्थिति:
-झांसी से दतिया-डबरा तक 55 किमी में ट्रैक पर फार्मेशन व पुल बनने का काम चल रहा है। इसके बाद ट्रैक डालने का काम भी शुरू कर दिया गया है। सितंबर से दिसंबर 2023 के बीच काम पूरा हो जाएगा।
-बिरला नगर से बानमौर तक 20 किमी ट्रैक तैयार हो चुका है। इस पर 110 से 120 किमी प्रतिघंटा की रफ्तार से ट्रेनें दौड़ाने की अनुमति मिल चुकी है।
-बानमौर से मुरैना तक 19 किमी का कार्य पूरा हो चुका है और ट्रेने भी निकाली जा रही है।
-मुरैना से हेतमपुर के बीच 15 किमी में ट्रैक का काम चल रहा है।
-धौलपुर से भांडई 42 किमी में ट्रैक तैयार हो चुका है। इस पर ट्रेनें दौड़ रही हैं।