नेता प्रतिपक्ष गोविंद सिंह ने महाकाल महालोक का अवलोकन किया, सरकार पर लगाए आरोप

नेता प्रतिपक्ष गोविंद सिंह ने महाकाल महालोक का अवलोकन किया, सरकार पर लगाए आरोप
गोविंद सिंह ने कहा कि तराना विधायक महेश परमार ने नवम्बर 2022 में लोकायुक्त को शिकायत कर दी

उज्जैन/वेबडेस्क। मप्र विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष गोविंद सिंह ने शनिवार सुबह उज्जैन पहुंचकर महाकाल महालोक का अवलोकन किया। इस दौरान उन्होंने पत्रकारों से बातचीत में राज्य सरकार पर गंभीर आरोप लगाते हुए भाजपा ने बाबा महाकाल के साथ धोखा किया है। कांग्रेस सरकार ने 350 करोड़ रुपये की महाकाल विकास योजना बनाई थी, उसे 850 करोड़ रुपये की बना दी। इसमें करोड़ों रुपये का भ्रष्टाचार हुआ है। बाबा महाकाल इन्हें कभी माफ नहीं करेंगे।

गोविंद सिंह ने कहा कि सनातन धर्म की मान्यता है कि टूटी, दरार वाली भगवान की मूर्तियों को नहीं रखा जाता है। महाकाल लोक में अभी पत्रकारों के साथ भ्रमण में सभी ने देखा कि अनेक प्रतिमाओं में दरार आ गई हैं। यह शर्म की बात तो है ही, हिन्दू धर्म की आस्था से खिलवाड़ भी है। उन्होंने कहा कि जब बाबा महाकाल को लगा कि बहुत भ्रष्टाचार किया जा रहा है तो उन्होंने पवनपुत्र हनुमान को भेज। वे यहां आए और फूक मारी। तेज हवाओं ने सप्तऋषियों की प्रतिमाएं हवा में उड़ाकर भ्रष्टाचार की पोल खोल दी। परिसर इसकी गवाही दे रहा है।

गोविंद सिंह ने कहा कि तराना विधायक महेश परमार ने नवम्बर 2022 में लोकायुक्त को शिकायत कर दी थी। कोई जांच नहीं हुई। जब आंधी ने पोल खोली तो लोकायुक्त जांच का नाटक किया जा रहा है। पहले क्यों नहीं की गई जांच। हमारी कांग्रेस सरकार बनने के बाद दोषियों पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी। इसके बाद गोविंद सिंह दाऊद खेड़ी,सांवराखेड़ी,जीवनखेड़ी रवाना हो गए, जहां सिंहस्थ की जमीन आवासीय में मुक्त की गई है। ज्ञात रहे कि उक्त भूमि प्रदेश के उच्च शिक्षा मंत्री, उनके परिवारजन और भाजपा नेताओं के नाम है। इसी बात को लेकर दो दिन पहले भोपाल में उज्जैन जिले की कोर कमेटी में मुख्यमंत्री और प्रदेश संगठन मंत्री के सामने मोहन यादव और पूर्व सांसद चिंतामणि मालवीय के बीच तकरार हुई थी। वरिष्ठ विधायक पारस जैन ने भी आपत्ति ली थी।

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