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इस शहर में सबसे ज्यादा चूहों का आतंक, हर साल खा जाते हैं 11 हजार क्विंटल धान

इस शहर में सबसे ज्यादा चूहों का आतंक, हर साल खा जाते हैं 11 हजार क्विंटल धान
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वाराणसी। खेतों में धमाचौकड़ी मचाने वाले चूहे आज किसानों के लिए अभिशाप बन गए हैं। ये चूहे खेत, खलिहान और भंडारण तक अनाज को नुकसान पहुंचाते हैं। कुल मिलाकर जिले में हर साल किसानों के 11 हजार क्विंटल से अधिक धान चूहे खा जाते हैं। यह कृषि विभाग की बता रही है। जिला कृषि अधिकारी का कहना है कि तैयार धान की फसल का 10 से 12 फीसदी चूहे खा जाते हैं। वहीं कुछ किसान चूहे को मारना नहीं चाहते हैं तो कुछ चाहकर भी उन्हें रोक नहीं पाते हैं। चूहे साल में करोड़ों रुपये की फसल खेत में बर्बाद कर देते हैं लेकिन उन्हें रोकने के लिए कोई ठोस उपाय नहीं है। किसानों की दिन-रात मेहनत करने के बाद भी उनकी लागत तक नहीं निकल पाती है। महंगाई की मार से किसान परेशान हैं। फसल तैयार होने पर उन्हें खेतों में धमाचौकड़ी मचा रहे चूहे बर्बाद कर दे रहे हैं। किसान लाख प्रयास के बाद भी उन्हें रोक नहीं पा रहे हैं। चूहों का सबसे ज्यादा आतंक सूखे खेतों में है, जिन खेतों नमी बनी हुई वहां कम है।

ऐसे भी चूहों पर कर सकते हैं नियंत्रण

कुछ किसानों का मानना है कि चूहेदानी में एक चूहा बंद करके ऊपर से कई रंग का पेंट डाल दें, चूहा पूरी तरह से रंग-बिरंगा हो जाए, उस रंग-बिरंगे चूहे को खेत में छोड़ने से बाकी के चूहे अपने आप भाग जाएंगे। अगर चूहे हमेशा के लिए समाप्त करने हैं तो अपने खेतों में पीपल, आम, बरगद, पाकड़, जामुन, नीम जैसे कई वृक्ष लगाएं, उसमें उल्लू के निवास से चूहे पूरी तरह से खत्म हो जाएंगे।

Updated : 26 Oct 2017 12:00 AM GMT
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