Gyanvapi: सुप्रीम कोर्ट ने ज्ञानवापी मामले में वजूखाना ASI सर्वेक्षण के लिए मुस्लिम पक्ष को दिया नोटिस
उत्तरप्रदेश। काशी विश्वनाथ ज्ञानवापी मस्जिद विवाद मामले में अदालत ने बड़ा फैसला सुनाया है। सुप्रीम कोर्ट ने ज्ञानवापी मस्जिद प्रबंधन समिति (Gyanvapi Mosque Management Committee) और भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (एएसआई) को नोटिस दिया है। यह नोटिस हिंदू याचिकाकर्ताओं की याचिका पर सुनवाई के बाद जारी किया गया है।
कहा जाता है कि एक वीडियोग्राफिक सर्वेक्षण के दौरान वाराणसी के ज्ञानवापी मस्जिद परिसर में "शिवलिंग" पाया गया था। इसी साक्ष्य के आधार पर याचिका लगाई गई थी। इसे संज्ञान में लेते हुए अदालत ने वजूखाना सीलबंद क्षेत्र में एएसआई सर्वेक्षण के लिए नोटिस दिया है।
अधिवक्ता विष्णु शंकर जैन ने बताया कि "आज, मामला बहुत ही सीमित आईए में न्यायालय के समक्ष सूचीबद्ध था जिसमें सील किए गए क्षेत्र की एएसआई जांच की मांग की गई थी। 16 मई, 2022 को, हमने दावा किया कि तथाकथित 'वजूखाने' में एक 'शिवलिंग' पाया गया था। अंजुमन इंतेज़ामिया ने इसका खंडन किया है और कहा है कि, यह एक फव्वारा है। हमने इस क्षेत्र की एएसआई जांच के लिए कहा था और हमने सुप्रीम कोर्ट के समक्ष आईए (अंतरिम आवेदन) दिया था। उस पर सुप्रीम कोर्ट ने नोटिस जारी किया है और कोर्ट ने अंजुमन इंतेज़ामिया को दो सप्ताह के भीतर जवाब दाखिल करने को कहा है।"
काशी विश्वनाथ-ज्ञानवापी मस्जिद मामले पर वकील बरुण कुमार सिन्हा ने कहा कि, ''ज्ञानवापी मामला सुप्रीम कोर्ट में सूचीबद्ध था। एक आवेदन दिया गया था कि वाराणसी जिला न्यायालय के सभी मुकदमों को उच्च न्यायालय में स्थानांतरित कर दिया जाए और इसे समेकित किया जाए। सभी सुनवाई एक ही अदालत में हो... सुप्रीम कोर्ट ने मुख्य मुकदमा, ज्ञानवापी एसएलपी को 17 दिसंबर को सूचीबद्ध किया है। ज्ञानवापी से संबंधित सभी लंबित आवेदनों को सूचीबद्ध किया जाएगा और सुनवाई शुरू करने के लिए एक तारीख तय की जाएगी।
हिंदू पक्ष की याचिका पर अदालत ने मुस्लिम पक्ष से जवाब मांगा है। 15 मामलों को हाईकोर्ट ट्रांसफर करने की मांग की गई थी। मुस्लिम पक्ष को नोटिस पर 2 हफ्ते में जवाब देना होगा। मामले की अगली सुनवाई 17 दिसंबर को होगी।