मांगों को लेकर किसानों ने रोका यमुना एक्सप्रेस वे

सबसे ज्यादा व्यस्त रहने वाला यमुना एक्सप्रेस वे किसानों ने रोक दिया।

Update: 2018-06-25 10:25 GMT

आधा घंटे तक अवरूद्ध रहा मार्ग पुलिस के समझाने पर खोला जाम

आगरा । सबसे ज्यादा व्यस्त रहने वाला यमुना एक्सप्रेस वे किसानों ने रोक दिया। विभिन्न मांगों को लेकर चार गांवों के सैंकड़ों किसान यमुना एक्सप्रेस वे पर उतर आए और एत्मादपुर थाने के अंतर्गत गढ़ी रामी पर रास्ता जाम कर दिया। करीब आधे घंटे तक एक्सप्रेस वे का मार्ग अवरुद्ध रहा। सूचना पर पहुंची पुलिस ने किसान को बामुश्किल समझाया और जाम खुलवाया। रविवार को गढ़ी रामी, छलेसर, बंगारा और चौगान गांव के सैंकड़ों किसान यमुना एक्सप्रेस वे पर उतर आए।किसानों में जेपी गु्रप द्वारा 2009-11 के बीच एक्सप्रेस वे फेसिलिटी सेंटर और टाउन शिप के लिए किये गए भूमि अधिग्रहण मुआवजे को लेकर भी आक्रोश था। आक्रोशित किसानों में ऐसे सैंकड़ों किसान थे जिनकी 64.7 फीसद विकसित भूमि का अतिरिक्त मुआवजा अभी तक मिला ही नहीं है।

ये किसान अपनी वार्षिकी की मांग पर अड़े थे। वहीं भूमि अधिग्रहण के दौरान किसानों के खिलाफ 80 मुकदमे दर्ज हुए थे। भाजपा सरकार जब सत्ता में आई तो किसानों पर चल रहे मुकदमों को वापस लेने की घोषणा की थी। लेकिन चार साल बाद भी घोषणा सिर्फ घोषणा ही बन कर रह गई है। अब तक किसान अपने खिलाफ चल रहे मुकदमों को लेकर परेशान हो रहे हैं। 60 किसान ऐसे थे जो नहीं चाहते थे कि उनकी भूमि का अधिग्रहण हो। इन किसानों ने 25 हैक्टेयर भूमि अधिग्रहण के लिए दी ही नहीं थी। फिर भी उनकी भूमि का अधिग्रहण कर लिया गया। किसानों की मांग थी कि सरकार उनके साथ न्याय करे। किसानों द्वारा लगाए गए जाम से कुछ ही देर में वाहनों की लंबी कतार एक्सप्रेस वे पर लग गई। सूचना पर पहुंची पुलिस ने किसानों को समझाकर जाम खुलवाया।




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