नई दिल्ली। रेल मंत्री पीयूष गोयल ने सरकारी नौकरियों के लिए बड़ी संख्या में आने वाले आवेदनों का मुख्य कारण स्थायित्व को बताते हुए कहा कि आवेदनों की संख्या को देश में बेरोजगारी से नहीं जोड़ा जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व वाली राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन(एनडीए) सरकार ने अब तक पर्याप्त रोजगार दिए हैं।
केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल ने मंगलवार को उद्योग मंडल भारतीय उद्योग परिसंघ (सीआईआई) की रोजगार और आजीविका पर विषय पर आयोजित सेमिनार को संबोधित करते हुए कहा कि निजी क्षेत्र की अपेक्षा सरकारी नौकरियों में स्थायित्व अधिक है। वह चाहे जैसा भी काम करें उनकी नौकरी को बचाने के लिए यूनियनें खड़ी हैं वह उनकी नौकरी पर आंच नहीं आने देंगी। उन्होंने कहा कि देश में वैकल्पिक रोजगार के अवसर बढ़े हैं और नए क्षेत्र स्वरोजगार को प्रोत्साहित कर रहे हैं।
उन्होंने रेल मंत्रालय द्वारा विभिन्न पदों के लिए हाल ही में निकाली गई भर्ती के लिए मिले डेढ़ करोड़ आवेदनों का जिक्र करते हुए कहा कि आमतौर पर इस तरह के आंकड़ों का इस्तेमाल देश में बेरोजगार लोगों की संख्या के लिए इस्तेमाल किया जाता है।
सेमिनार में केंद्रीय मानव संसाधन मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने भी दोहराया कि मोदी सरकार ने पिछले पांच साल में पर्याप्त रोजगार दिए हैं। उन्होंने कहा कि जो लोग पसंद के आधार पर नौकरी नहीं कर रहे हैं ऐसे लोगों को 'बेरोजगार' नहीं माना जा सकता है। उन्होंने देश में असंगठित क्षेत्रों और स्वरोजगार कर रहे लोगों के अलावा महिला आबादी के संबंध में आधिकारिक आंकड़ा जुटाने की जरूरत पर बल दिया। जावड़ेकर ने कहा कि सरकारी नौकरियों के लिए दीवानगी को समझने की जरूरत है। हमें यह पता लगाना है कि स्नातकोत्तर डिग्री वाले लोग सफाई कर्मचारी की नौकरी के लिए आवेदन क्यों करते हैं।(हि.स.)