गोरखपुर: बदलाव से रोशन हुई मुसहरों की जिंदगी, विकास और विश्वास का उजियारा

चार साल पहले उनके जीवन में अंधकार और भूखमरी के अलावा कुछ भी नहीं था। अब उन्हें न सिर्फ सरकार की सभी योजनाओं का लाभ मिल रहा है। बल्कि वह अब फर्श से अर्श का सफर कर रहे हैं।

Update: 2021-04-10 09:31 GMT

गोरखपुर: कुशीनगर जिले में 138 ग्राम सभाओं में 159 बस्तियों में मुसहर समाज के 10,414 परिवार हैं। चार साल पहले तक राशन के अभाव में भूख, कुपोषण, बीमारी और मौत ही इन्हें सुर्खियों में लाते थे। किसी सरकार ने इनकी सुध नहीं ली। बेबसी में जीवन से संघर्ष कर मुसहर भगवान को कोसने के अलावा कुछ कर भी नहीं पाते थे। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भूख, कुपोषण, बदहाली और उपेक्षा का दंश झेल रहे मुसहर समाज के जीवन में व्यापक परिवर्तन लाया है। उनकी मुसहरों के प्रति संवेदनशीलता, आत्मीय लगाव, दूरदर्शी नीति और योजनाओं की वजह से अब वह समाज की मुख्यधारा से जुड़कर जीवन यापन कर रहे हैं। चार साल पहले उनके जीवन में अंधकार और भूखमरी के अलावा कुछ भी नहीं था। अब उन्हें न सिर्फ सरकार की सभी योजनाओं का लाभ मिल रहा है। बल्कि वह अब फर्श से अर्श का सफर कर रहे हैं।

समय बदला और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सत्ता में आते ही इनके लिए न सिर्फ नई योजनाओं की शुरूआत की, बल्कि धरातल पर योजनाओं का लाभ दिलाने के लिए अधिकारियों के भी पेंच कसे। अब इन परिवारों में से 9,336 को अंत्योदय कार्ड और 1078 को पात्र गृहस्थी के तहत राशन कार्ड मिल चुका है। सरकार की सख्ती राशन वितरण प्रणाली पर सतत रहती है। इसलिए इन मुसहरों को समय से चावल, गेहूं के साथ ही चना भी उपलब्ध कराया जाता है। मुसहर बाहुल्य कुशीनगर के 10 ब्लॉकों में प्रधानमंत्री आवास योजना ग्रामीण के तहत 7894 और इससे छूटे मुसहरों के मुख्यमंत्री आवास योजना ग्रामीण के तहत 2572 घर बन चुके हैं। स्वच्छता के प्रति जागरूक करने के साथ 10,159 परिवारों को शौचालय की भी सुविधा मिली है।

मुसहरों के जीविकोपार्जन में कोई बाधा न आए उनके लिए कुशीनगर जिले में मनरेगा के तहत 10,320 मुसहरों के जॉब कार्ड बनाए गए हैं और उन्हें समय से रोजगार मुहैया कराने को मुख्यमंत्री ने स्पष्ट निर्देश दे रखे हैं। पेंशन योजनाओं में पात्रों का चयन कर लाभान्वित किया गया। जिस कारण 1297 को वृद्धावस्था पेंशन और 180 को विकलांग पेंशन का लाभ मिल रहा है। मुख्यमंत्री की मंशा के अनुरूप सभी पात्रों को योजनाओं का लाभ मिलेगा, इसके लिए आवास, शौचालय और पेंशन आदि योजनाओं के लिए लाभार्थियों के चयन की प्रक्रिया भी जारी है।

मुख्य धारा से जोडे, शिक्षा के प्रति हुए जागरूक

मुसहरों के लिए मकान और बच्चों की शिक्षा की बात सोचनी ही बेमानी थी। दो वक्त की रोटी के इंतजाम के ही लाले थे। पर, 'दलितों में भी दलित' समझे जाने वाले मुसहर समाज के लिए अब यह बातें इतिहास के पन्नों में सिमट रही हैं। मुख्यमंत्री ने उन्हें तेजी से समाज और विकास की मुख्य धारा से जोड़ा गया है। मुसहर अब सरकारी योजनाओं के लाभार्थियों में गिने जाते हैं। आवास, जमीन, शौचालय, बिजली, रसोई गैस, पेयजल, राशन कार्ड, पेंशन योजनाओं का लाभ, मनरेगा के तहत रोजगार सब कुछ उनके लिए सुलभ हो चुका है। मुसहरों की आगे की पीढ़ी और तरक्की करे, इसके लिए उनके बच्चे स्कूल भी जाने लगे हैं।

मूस से माउस तक लाने की मंशा

मार्च 2017 में सूबे की सत्ता संभालने के बाद से ही योगी सरकार ने ऐसे वंचित तबकों को अभियान चलाकर योजनाओं का लाभ पहुंचाया है। योगी सरकार की मंशा मुस (चूहा) पकड़ने वाले मुसहरों की वर्तमान और अगली पीढ़ी को कंप्यूटर का माउस पकड़ाने की है, ताकि वह बदलते दौर में किसी से भी पीछे न रहें। बुनियादी सुविधाओं की उपलब्धता सुनिश्चित करने के साथ सरकार मुसहरों की शिक्षा पर खासा ध्यान दे रही है। मुख्यमंत्री योगी जब भी वनवासियों-आदिवासियों के बीच होते हैं, तो आत्मीयता से उन्हें शिक्षा के प्रति प्रेरित करते हैं।

'चार बरिस में जिनगी में बदल गईल बा'

जिले में सर्वाधिक मुसहर परिवार दुदही ब्लॉक के 36 ग्राम सभाओं में हैं। इस ब्लॉक के घुरपट्टी बांसगांव के मुसहर राजेंद्र की बातें वाकई गौर करने लायक हैं। "चार बरिस पहिले अउर आज के जिनगी में जमीन-आसमान जइसन फरीक आइल बा। राशन कारड ते बनल ही, हर महीना समय से राशन भी मिल जाला, जबकि पहिले राशन के कउन कहे कर्डवे नाही बनल रहे।" वह बताते हैं, "जोगी जी ने हम्मन के खबर लिहलें त लकडवून (लॉकडाउन) में भी काम होत रहल।" राजेंद्र मुसहर के आवास का निर्माण लॉकडाउन के ही दौरान हुआ, सौभाग्य योजना से निशुल्क बिजली कनेक्शन भी मिला।

'जोगी बाबा हम्मन के जीनगी बदल दिहलन'

कुशीनगर के खड्डा ब्लॉक में 30 ग्राम सभाओं में मुसहरों की आबादी है। इस ब्लॉक के भेंडी जंगल गांव में 101 मुसहरों को आवास मिल गया है, जो गिनती के बचे हैं, उनका आवास भी स्वीकृत हो चुका है। भेंडी जंगल के चंद्रिका मुसहर अपने समाज की बेहतरी के लिए योगी सरकार के प्रति आभार जताते हुए कहते हैं, जोगी बाबा के सरकार में हम्मन के दुर्दशा दूर भइल। हमनी के मकान त मिलल ही, राशन पताई भी समय से मिली जाला। जीवन अइसन बदलि जाई, ई त कब्बो सोचले नाई गइल रहे।"

'जोगी महराज घर, शौचालय, फिरी क बिजुरी, गैस सिलेंडर, अनाज सब जरुरति के पूरा कई दिहलन'

भेंडी जंगल गांव की ही विधवा मुसहर इसरावती देवी के जीवन में आए बदलाव के बारे में पूछने पर वह भावुक हो जाती हैं। "मड़ई (झोपड़ी) में रहे के मजबूर मुसहरन के खातिर जोगी महराज (योगी आदित्यनाथ) मकान, शौचालय, फिरी के बिजली, रसोई गैस, राशन सब जरुरति के पूरा कई दिहलन। मुसहरन के लइके अब पढ़े जालें।" वह बताती हैं कि कुछ लोगों के मकान बाकी रह गए हैं, उन्हें भी मिलने वाला है। वह इस बात के लिए भी सरकार का आभार जताती हैं कि उन्हें विधवा पेंशन भी समय से मिल जाता है।

जिलाधिकारी है मुसहर परिवार वेलफेयर सोसाइटी के अध्यक्ष

योगी आदित्यनाथ ने मुख्यमंत्री बनने के बाद पूर्वांचल के सबसे अधिक मुसहर आबादी वाले जिले कुशीनगर में जुलाई 2017 में मुसहर परिवार वेलफेयर सोसाइटी का गठन किया गया। इस सोसाइटी की प्रबन्ध कार्यकारिणी में जिलाधिकारी अध्यक्ष, सीडीओ उपाध्यक्ष और एडीएम वित्त एवं राजस्व सचिव हैं। सीएमओ, डीआईओएस, बीएसए, डीएसओ, जिला गन्ना अधिकारी और जिला पंचायत राज अधिकारी सदस्य हैं। इसके अलावा समाज के 21 गणमान्य लोगों को सोसाइटी का सदस्य बनाया गया है। सोसाइटी मुसहर समाज के लिए योजनाओं के क्रियान्वयन पर मंथन करती है। मुसहर समाज के लिए सरकार की संवेदनशीलता का अंदाजा इससे भी लगाया जा सकता है कि लॉकडाउन में अधिकारी मुसहर बस्तियों में खुद अपनी मॉनिटरिंग में राशन और स्वच्छता किट का वितरण कराते रहे।

कुशीनगर के मुसहरों की आबादी

ब्लॉक मुसहर बाहुल्य ग्रामसभा

कसया 5

खड्डा 30

नेबुआ नौरंगिया 4

फाजिलनगर 10

तमकुहीराज 6

सेवरही 15

रामकोला 1

दुदही 36

विशुनपुर 14

पडरौना 17

सरकार की सौगात

मुसहर परिवारों की कुल संख्या 10,414

सर्वाधिक मुसहर परिवार, दुदही 2,770

अंत्योदय कार्ड 9,336

पात्र गृहस्थी कार्ड 1,078

जॉब कार्ड 10,320

शौचालय 10,159।


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