महंत नरेंद्र गिरि संदिग्ध परिस्थितियों में निधन, कक्ष से आठ पेज का सुसाइड नोट मिला

Update: 2021-09-20 17:53 GMT

प्रयागराज।अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष श्री महंत नरेंद्र गिरि का सोमवार को संदिग्ध परिस्थियों में निधन हो गया। प्रयागराज के बाघम्बरी मठ में उनका निधन हुआ है। मौके पर जिला प्रशासन और पुलिस के अधिकारी पहुंच गये हैं। मौत के कारण का अभी तक पता नहीं चल सका है। में निधन से पूरा संत समाज आहत है। पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव समेत संत समाज के बड़े-बड़े लोगों ने दुख जताया है। नरेंद्र गिरी के शिष्य आनंद गिरि ने षड्यंत्र के तहत हत्या के आरोप लगाए हैं। स्वामी राम विलास वेदांती ने सीबीआई जांच की मांग की है।  

नरेंद्र गिरी के शिष्य आनंद गिरि ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि षड्यंत्र के तहत उनकी हत्या की गई है। वह फांसी नहीं लगा सकते हैं। एक षड्यंत्र के तहत उन्हें उनके गुरु से अलग किया गया था और अब उनकी हत्या कर दी गई जिसकी वृहद स्तर पर जांच की जानी चाहिए। अयोध्या के संत व पूर्व सांसद रामविलास वेदांती ने गिरी के निधन पर सीबीआई जांच कराए जाने की मांग की है। 

 पलिस ने इसे प्रथम दृष्टया आत्महत्या का मामला बताया है। पुलिस ने उनके कक्ष से आठ पेज का सुसाइड नोट भी बरामद किया है। इस बीच शासन ने भी महंत नरेंद्र गिरि की मौत को लेकर पूरी रिपोर्ट जिला प्रशासन से तलब की है। प्रयागराज के पुलिस महानिरीक्षक केपी सिंह ने बताया कि श्रीमहंत नरेंद्र गिरि के कक्ष से बरामद सुसाइड नोट में तमाम बातें विस्तार से लिखी गई हैं। इसमें उन्होंने कुछ शिष्यों से नाराजगी भी जताई है। उनके अनुसार सुसाइड नोट को बड़े ही भावनात्मक ढंग से लिखा गया है और उसमें आत्महत्या करने की भी बात का उल्लेख है। पुलिस महानिरीक्षक ने यह भी कहा कि फिलहाल सुसाइड नोट की फारेंसिक जांच भी कराई जाएगी ताकि यह स्पष्ट हो सके कि यह महंत नरेंद्र गिरि ने ही लिखा है या नहीं।

इस बीच प्रदेश के अपर मुख्य सचिव गृह अवनीश अवस्थी ने प्रयागराज जिला और पुलिस प्रशासन से महंत नरेंद्र के निधन को लेकर पूरी रिपोर्ट तलब की है। अपर मुख्य सचिव गृह इस मामले पर स्वयं नजर रखे हुए हैं और हर जानकारी से मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को भी अवगत करा रहे हैं।


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