Rau IAS Coaching Incident: 3 UPSC उम्मीदवारों की मौत, हाईकोर्ट ने बेसमेंट के मालिकों को दी अंतरिम जमानत
Rau IAS Coaching Incident : दिल्ली हाई कोर्ट ने ओल्ड राजिंदर नगर में आईएएस की तैयारी कर रहे तीन छात्रों की मौत से संबंधित बेसमेंट के चार को-ऑनर को अंतरिम जमानत दे दी है। यह जमानत 30 जनवरी, 2024 तक प्रभावी रहेगी। इसके अलावा कोर्ट ने दिल्ली के उपराज्यपाल (एलजी) से एक समिति बनाने का अनुरोध किया है, जो हाई कोर्ट के रिटायर जज की देखरेख में काम करेगी।
इस समिति का उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि पूरी दिल्ली में बेसमेंट में कोई भी कोचिंग सेंटर न चलाया जाए और एक सुरक्षित स्थान भी उपलब्ध कराया जाए जहां कोचिंग सेंटर संचालित हो सकें। इसके अलावा अदालत ने बेसमेंट के चार को-ऑनर को निर्देश दिया है कि वे रेड क्रॉस सोसाइटी में 5 करोड़ रुपए जमा करें। सुनवाई के दौरान जज दिनेश कुमार शर्मा की पीठ ने टिप्पणी की कि उन्होंने बेसमेंट को किराए पर देकर लालच का काम किया है। इस घटना में उत्तर प्रदेश की श्रेया यादव (25), तेलंगाना की तान्या सोनी (25) और केरल के नेविन डेल्विन (24) की मौत हो गई थी। यह मामला rau's ias कोचिंग सेंटर से जुड़ा हुआ है।
बेसमेंट के को-ऑनर ने कहा- घटना में उनकी कोई भूमिका नहीं
बेसमेंट के को-ऑनर परविंदर सिंह, तजिंदर सिंह, हरविंदर सिंह और सरबजीत सिंह ने जमानत याचिका दायर की थी, जिसमें उन्होंने दावा किया कि वे केवल बेसमेंट के मकान मालिक हैं, जिसे कोचिंग सेंटर को किराए पर दिया गया था और इस घटना में उनकी कोई भूमिका नहीं है। सीबीआई ने आरोपियों की जमानत याचिका का विरोध किया था और कहा था कि जांच के प्रारंभिक चरण में होने के कारण जब तक स्वतंत्र गवाहों की जांच पूरी नहीं हो जाती, तब तक उन्हें जमानत नहीं दी जानी चाहिए।
दिल्ली हाई कोर्ट के सीबीआई से सवाल
दिल्ली हाई कोर्ट ने सीबीआई से पूछा कि 27 जुलाई को हुई घटना के दिन जलभराव का कारण क्या था। जस्टिस दिनेश कुमार शर्मा ने इस संदर्भ में पूछा, 'उस दिन जलभराव क्यों हुआ? दिल्ली में भारी बारिश हुई थी। क्या यह बारिश की वजह से था या कुछ और?' सीबीआई के वकील ने कहा कि गवाहों के बयान के अनुसार, घटना के समय बेसमेंट में 35 से 40 छात्र मौजूद थे और गेट टूटने के बाद पानी तेजी से भर गया जैसे बांध टूटने की स्थिति हो।