नईदिल्ली। भारतीय शेयर बाजार आज भले ही चढ़कर बंद हुआ है, लेकिन कोरोना संक्रमण के कारण शेयर बाजार में बड़ी रिकवरी की संभावना कम ही आंकी जा रही है। बाजार में कोरोना संक्रमण की बढ़ती रफ्तार ने निगेटिव सेंटिमेंट्स को हवा दे दी है। यही वजह है कि अप्रैल के महीने में ही विदेशी पोर्टफोलियो निवेशक (एफपीआई) अभी तक एक हजार करोड़ रुपये से अधिक की राशि भारतीय बाजार से निकाल चुके हैं।
डिपॉजिटरीज से मिले आंकड़ों के मुताबिक विदेशी पोर्टफोलियो निवेशक 9 अप्रैल तक ही भारतीय बाजार से 929 करोड़ रुपये निकाल चुके थे। नौ अप्रैल के बाद के आंकड़े अभी नहीं मिले हैं, लेकिन अनुमान है कि नौ अप्रैल के बाद के दो कारोबारी दिनों यानी 12 और 13 अप्रैल के दौरान निकासी का ये आंकड़ा बढ़कर 1100 करोड़ रुपये हो चुका है।
740 करोड़ रुपये की निकासी -
9 अप्रैल तक के आंकड़ों के अनुसार एफपीआई ने इस महीने की शुरुआत से लेकर 9 अप्रैल तक शेयर बाजार से 740 करोड़ रुपये की निकासी की। इसके अलावा डेट मार्केट से इन विदेशी पोर्टफोलियो निवेशकों ने 189 करोड़ रुपये निकाल लिए। कोरोना की लगातार बढ़ रही रफ्तार के कारण आने वाले दिनों में एफपीआई द्वारा भारतीय शेयर और डेट बाजार से और भी अधिक रकम की निकासी किए जाने का अनुमान लगाया जा रहा है।
तीन महीने खरीदारी -
अगर विदेशी पोर्टफोलियो निवेशकों की ओर से भारतीय बाजार में की जा रही ट्रेडिंग के ट्रेंड पर नजर डालें तो मौजूदा अप्रैल महीने के पहले यानी मार्च 2021 तक तक एफपीआई ने भारतीय बाजारों में लगातार तीन महीने खरीदारी की थी। उन्होंने मार्च में 17304 करोड़ रुपये, फरवरी में 23663 करोड़ रुपये और जनवरी में 14649 करोड़ रुपये निवेश किए थे। इस तरह उन्होंने तीन महीने में ही भारताय बाजार में 55586 करोड़ रुपये का निवेश किया था।