Koo एप बन रहा हिंदी का नंबर 1 माइक्रो ब्लॉग, राजस्थान में बढ़े सबसे ज्यादा यूजर्स
नईदिल्ली। कू ऐप हिंदी में भारत का सबसे बड़ा माइक्रो-ब्लॉग बन गया है। इस बहुभाषी सोशल मीडिया मंच पर हिंदी सबसे लोकप्रिय भाषा बनकर भी उभरी है। कू ऐप भाषा-आधारित माइक्रो-ब्लॉगिंग में नए बदलाव लाने वाला मंच है और इस वजह से 10 भाषाओं में सभी को डिजिटल रूप से जोड़ने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। इस पर हिंदी एक प्रभावशाली समुदाय है जो कविता, साहित्य, कला, संस्कृति, खेल, फिल्म और आध्यात्मिकता के साथ-साथ अन्य सैकड़ों विषयों के माध्यम से खुद को अभिव्यक्त करता है। तेजी से फलते-फूलते इस हिंदी समुदाय में राजस्थान के यूजर्स की संख्या काफी ज्यादा है। जयपुर, जोधपुर, कोटा, नागौर, नाथद्वारा, पाली जैसे स्थानों के यूजर्स के नेतृत्व में राजस्थान में जनवरी 2022 से अब तक इस मंच से जुड़ने वालों की संख्या में 150 प्रतिशत से अधिक की बढ़ोतरी हुई है।
कू ऐप के सह-संस्थापक मयंक बिदावतका का कहना है कि कू के लिए राजस्थान एक महत्वपूर्ण स्थान रखता है। हमारे पास लाखों ऐसे यूजर्स हैं जो अपनी मातृभाषा में पहली बार सोशल मीडिया पर अपने विचार और राय पेश करने की आजादी का अनुभव कर रहे हैं। कू ने राजस्थान के लोगों को एक-दूसरे के साथ और प्रमुख हस्तियों के साथ हिंदी में बातचीत करने और अपने अनूठे त्योहारों, परंपराओं और राज्य की समृद्ध विरासत का जश्न मनाने का अधिकार दिया है।
कू ऐप पर मौजूद 7000 मशहूर हस्तियों में से करीब 500 राजस्थान से हैं। इनमें मुख्यमंत्री अशोक गहलोत, पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे, ओलंपिक विजेता और निशानेबाजी के दिग्गज राज्यवर्धन राठौड़ भी शामिल हैं। बहुभाषी फॉलोअर्स तक पहुंचने के लिए ये दिग्गज बेहतरीन मल्टी-लिंगुअल कू (एमएलके) फीचर का भी फायदा उठाते हैं, जो इनके मैसेज का रीयल-टाइम अनुवाद करके उन्हें संबंधित भाषाई समुदायों तक पहुंचाता है। मार्च 2020 में अपनी स्थापना के बाद से कू ऐप को सोशल मीडिया यूजर्स से काफी प्यार और प्रशंसा मिली है। अगस्त 2021 में एक करोड़ की संख्या से प्लेटफ़ॉर्म ने हाल ही में 4.5 करोड़ डाउनलोड का आंकड़ा दर्ज किया है। बिदावतका कहते हैं कि दुनिया के लगभग 80 फीसदी लोग अपनी मातृभाषा बोलते हैं। आगे चलकर यह मंच क्रिएटर्स की खुशी को बढ़ाने के लिए कई नई सुविधाएं पेश करेगा।
उल्लेखनीय है कि कू एप की लॉन्चिंग मार्च 2020 में भारतीय भाषाओं के एक बहुभाषी, माइक्रो-ब्लॉगिंग प्लेटफॉर्म के रूप में की गई थी। कू ऐप ने भाषा-आधारित माइक्रो-ब्लॉगिंग में नया बदलाव किया है। यह एप फिलहाल हिंदी, मराठी, गुजराती, पंजाबी, कन्नड़, तमिल, तेलुगू, असमिया, बंगाली और अंग्रेजी समेत 10 भाषाओं में उपलब्ध है।