मन की बात : प्रधानमंत्री ने किया G20 का जिक्र, कहा - भारत ने मनवाया अपनी नेतृत्व क्षमता का लोहा
'मन की बात' का प्रसारण 22 भारतीय भाषाओं और 29 बोलियों के अलावा फ्रेंच, चीनी, इंडोनेशियाई, तिब्बती, बर्मी, बलूची, अरबी, पश्तू, फारसी सहित 11 विदेशी भाषाओं में किया जाता है।
नईदिल्ली। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी आज (रविवार) 'मन की बात' कार्यक्रम के 105वें संस्करण में पूर्वाह्न 11 बजे अपने चिर-परिचित अंदाज में रूबरू हुए। उन्होंने कहा कि चंद्रयान-3 की सफलता के बाद जी-20 के शानदार आयोजन ने हर भारतीय की खुशी को दोगुना कर दिया। भारत मंडपम तो अपने आप में एक सेलिब्रिटी की तरह हो गया है। लोग उसके साथ सेल्फी लेकर उसे गर्व से पोस्ट भी कर रहे हैं। भारत ने इस समिट में अफ्रीकन यूनियन को जी-20 में पूर्ण सदस्य बनाकर अपने नेतृत्व का लोहा मनवाया है। इससे पहले प्रधानमंत्री ने इस कार्यक्रम के संबंध में एक्स पर कहा कि प्रेरक जीवन यात्राओं को उजागर करने में हमेशा खुशी होती है।
उन्होंने कहा कि जब भारत बहुत समृद्ध था तब हमारे देश में और दुनिया में सिल्क रूट की बहुत चर्चा होती थी। यह सिल्क रूट व्यापार-कारोबार का बहुत बड़ा माध्यम था। अब आधुनिक जमाने में भारत ने एक और इकोनॉमिक कॉरिडोर जी-20 में सुझाया है। यह है इंडिया-मिडिल ईस्ट-यूरोप इकोनॉमिक कॉरिडोर। यह आने वाले सैकड़ों वर्षों तक विश्व व्यापार का आधार बनने जा रहा है और इतिहास इस बात को हमेशा याद रखेगा कि इस कॉरिडोर का सूत्रपात भारत की धरती पर हुआ।
प्रधानमंत्री ने कहा कि दिल्ली में एक और रोमांचक कार्यक्रम 'जी-20 यूनिवर्सिटी कनेक्ट प्रोग्राम' होने जा रहा है। इस प्रोग्राम से देशभर के लाखों यूनिवर्सिटी के विद्यार्थी एक-दूसरे से जुड़ेंगे। इसमें आईआईटी, आईआईएम, एनआईटी और मेडिकल कॉलेजों जैसे कई प्रतिष्ठित संस्थान भी भाग लेंगे। मैं चाहूंगा कि अगर आप कॉलेज स्टूडेंट हैं तो 26 सितंबर को होने वाले इस कार्यक्रम को जरूर देखिएगा। इससे जरूर जुड़िएगा।
'मन की बात' में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने देशवासियों को विश्व पर्यटन दिवस की भी याद दिलाई। उन्होंने कहा 27 सितंबर को विश्व पर्यटन दिवस है। पर्यटन को कुछ लोग सिर्फ सैर-सपाटे के तौर पर देखते हैं, लेकिन पर्यटन का बहुत बड़ा पहलू रोजगार से जुड़ा है। मेरा आप सबसे आग्रह है कि जब आप कहीं घूमने जाने की योजना बनाएं, तो ये प्रयास करें कि भारत की विविधता की दर्शन करें। बीते कुछ वर्षों में भारत के प्रति आकर्षण बढ़ा है और जी-20 के सफल आयोजन के बाद दुनिया के लोगों की रुचि भारत की ओर बढ़ गई है।उन्होंने कहा किभारत में अब वैश्विक धरोहर की संख्या 42 हो गई है। भारत का प्रयास है कि हमारी ज्यादा से ज्यादा ऐतिहासिक और सांस्कृतिक जगहों को विश्व धरोहर के तौर पर मान्यता मिले। भारत में एक से बढ़कर एक विश्व हेरिटेज साइट्स हैं। कुछ ही दिन पहले शांति निकेतन और कर्नाटक के पवित्र होयसड़ा मंदिरों को विश्व धरोहर घोषित किया गया है।
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि 21 साल की कैसमी इन दिनों इंस्टाग्राम पर खूब छाई हुई है। जर्मनी की रहने वाली कैसमी कभी भारत नहीं आई है, लेकिन वो भारतीय संगीत की दीवानी है, जिसने कभी भारत को देखा तक नहीं उसकी भारतीय संगीत में ये रुचि बहुत ही प्रेरणादायक है।उन्होंने कहा कि उत्तराखंड के नैनीताल जिले में कुछ युवाओं ने बच्चों के लिए अनोखे घोड़ा पुस्तकालय की शुरुआत की है। इस पुस्तकालय की सबसे बड़ी विशेषता यही है कि दुर्गम से दुर्गम इलाकों में भी इसके जरिए बच्चों तक पुस्तकें पहुंच रही हैं और इतना ही नहीं, ये सेवा बिल्कुल निशुल्क है। अब तक इसके माध्यम से नैनीताल के 12 गांवों को कवर किया गया है।
उल्लेखनीय है कि 'मन की बात' का प्रसारण 22 भारतीय भाषाओं और 29 बोलियों के अलावा फ्रेंच, चीनी, इंडोनेशियाई, तिब्बती, बर्मी, बलूची, अरबी, पश्तू, फारसी सहित 11 विदेशी भाषाओं में किया जाता है। यह कार्यक्रम आकाशवाणी के 500 से अधिक केंद्रों से प्रसारित होता है। इसी साल 30 अप्रैल को प्रधानमंत्री मोदी के 'मन की बात' धाराविहक के 100 संस्करण पूरे हुए थे। इस ऐतिहासिक क्षण को यादगार बनाने के लिए पूरे देश में इसकी लाइव स्क्रीनिंग की गई। न्यूयॉर्क स्थित संयुक्त राष्ट्र मुख्यालय में भी 'मन की बात' के इस संस्करण का सीधा प्रसारण किया गया। दिल्ली में 6530 स्थानों पर इसे लाइव सुना गया।