बजट की पिचकारी से निकले 'ज्ञान' के रंग: वित्तमंत्री जगदीश देवड़ा ने पेश किया 4.21 लाख करोड़ का बजट, कोई नया 'कर’ नहीं…

Update: 2025-03-12 15:59 GMT

विशेष संवाददाता, भोपाल। होली से एक दिन पूर्व मप्र सरकार ने अपनी बजट की पिचकारी से 'ज्ञान' को रंग दिया। बजट पूरी तरह 'ज्ञान’ अर्थात गरीब, युवा, अन्नदाता और नारी केन्द्रित रहा। वहीं औद्योगिक विकास एवं निवेश प्रोत्साहन के लिए भी बजट में विशेष राशि के प्रावधान किए गए। महत्वपूर्ण बात यह है कि इस बार भी कोई नया 'कर’ नहीं लगाया गया।

प्रदेश के वित्त मंत्री जगदीश देवड़ा ने बुधवार को विधानसभा में वित्तीय वर्ष 2025-26 के लिए 4 लाख 21 हजार 32 करोड़ रुपए का बजट पेश किया। बजट भाषण में सरकार की योजनाओं और उपलब्धियों का उल्लेख करते हुए कहा कि राज्य में 39 नए औद्योगिक क्षेत्र विकसित किए जा रहे हैं। इनसे 3 लाख से अधिक रोजगार मिलेंगे।

11 नए आयुर्वेदिक कॉलेज और 22 नए आईटीआई खोले जाएंगे। वहीं लाड़ली बहना योजना को पेंशन योजना से जोड़ा जाएगा। 2047 तक मध्यप्रदेश का बजट 2 ट्रिलियन डॉलर तक पहुंचाने का लक्ष्य है। सरकार की प्राथमिकताएं गिनाते हुए उन्‍होंने कहा कि आगामी 5 वर्षों में बजट का आकार दोगुना करना, पूंजीगत निवेश को बढ़ाना, सड़क, सिंचाई एवं बिजली सुविधाओं का विस्तार, गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सुविधाएं तथा रोजगार सृजन के लिए निवेश आकर्षित करना लक्ष्‍य होगा।

किसके लिए क्‍या….

आमजन

- बजट में कोई भी नया कर नहीं

- किसी भी कर की दर नहीं बढ़ाई गई।

- बुजुर्गों को तीर्थ यात्रा के लिए 50 करोड़ रुपये का प्रावधान।

- नागरिकों के लिए बीमा समिति का गठन होगा।

- संबल योजना के लिए 700 करोड़ रुपये का प्रावधान।

- जल जीवन मिशन (ग्रामीण) के लिए 17136 करोड़ का प्रावधान।

- अटल गृह ज्योति योजना के लिए 7132 करोड़ की राशि।

- प्रधानमंत्री आवास योजना (ग्रामीण)- 4400 करोड़ की राशि।

- प्रधानमंत्री आवास योजना (शहरी) 2.0- 1000 करोड़ का प्रावधान।

- मुख्यमंत्री सुगम परिवहन सेवा शुरू होगी। इसके तहत ग्रामीणों को सस्ता और सुलभ परिवहन उपलब्ध होगा। इस हेतु सरकार ने 80 करोड़ रुपये का प्रावधान किया है।

- स्वास्थ्य में सीएम केयर योजना शुरू की जाएगी। इसमें 3 करोड़ का प्रावधान किया गया।

- एक लाख किमी सड़कें बनेंगी।

- 850 करोड़ रूपये मेट्रो रेल परियोजना के लिए।

- जनजातीय बहुल 11,300 से अधिक गांवों का कायाकल्प होगा, इसके लिए 200 करोड़ का बजट।

- वाहन स्क्रैप योजना को प्रोत्साहित करने के लिए नई गाड़ी खरीदने पर परिवहन वाहन के लिए मोटर व्हीकल टैक्स में 15 प्रतिशत और गैर परिवहन वाहन के लिए 25 प्रतिशत की छूट मिलेगी।

युवाओं एवं विद्यार्थियों के लिए

- 11 नए आयुर्वेदिक कॉलेज और 22 नए आईटीआई खुलेंगे।

- 39 नए औद्योगिक क्षेत्रों में 3 लाख नौकरियों का वादा।

- सीएम युवा शक्ति योजना के तहत हर विधानसभा क्षेत्र में सर्व सुविधायुक्त स्टेडियम निर्माण। इसके लिए 25 करोड़ का प्रावधाननिर्माण।

- डिजिटल यूनिवर्सिटी और राष्ट्रीय रक्षा विश्वविद्यालय खोले जाएंगे।

- जनजातीय विद्यार्थियों लिए 22 नए छात्रावास बनाए जाएंगे।

- पढ़ाई के लिए 50 छात्रों को सरकार विदेश भेजेगी।

- प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए 20 करोड़ रुपये।

- सीएम राइज स्कूल के लिए 1017 करोड़ रुपये का प्रावधान।

- 11वीें, 12वीं एवं महाविद्यालयीन छात्रवृत्ति के लिए 1100 करोड़ रुपये का प्रावधान।

किसान और कृषि क्षेत्र

- अटल कृषि ज्‍योति योजना के लिए ‌13 हजार 909 करोड़।

- 5 एच.पी. के कृषि पम्पों, थ्रेशरों एवं एक बत्ती कनेक्शन को नि:शुल्क बिजली देने के लिए 5299 करोड़ रुपये।

- मुख्यमंत्री किसान कल्याण योजना के लिए 5220 करोड़ रुपये।

- मुख्यमंत्री कृषक फसल उपार्जन सहायता योजना के अंतर्गत 1000 करोड़ रुपये।

- समर्थन मूल्य पर फसल उपार्जन पर बोनस के लिए 1000 करोड़ रुपये का प्रावधान

- मुख्यमंत्री कृषक उन्नति योजना- 650 करोड़

- मुख्यमंत्री डेयरी विकास योजना-50 करोड़

- मुख्यमंत्री कृषक मित्र सूर्य योजना-447

- राष्ट्रीय कृषि विकास योजना के लिए 275 करोड़ रुपये।

- ट्रेक्टर, कृषि उपकरणों पर अनुदान हेतु 230 करोड़ रुपये।

- अधीनस्थ तथा विशेषज्ञ कर्मचारी वृन्द के अंतर्गत 518 करोड़ रुपये।

- खाद्य एवं पोषण सुरक्षा के अंतर्गत 380 करोड़ रुपये।

- कृषि जल प्रबंधन सब मिशन के अंतर्गत 350 करोड़ रुपये।

- खाद्य तेल एवं तिलहन राष्‍ट्रीय म‍िशन हेतु 183 करोड़ रुपये।

- जबलपुर में जवाहरलाल नेहरू कृषि विश्वविद्यालय को ब्लॉक ग्रांट के अंतर्गत 120 करोड़ रुपये का प्रावधान।

- जवाहरलाल नेहरू कृषि विश्वविद्यालय की स्ववित्तीय पेंशन योजना के अंतर्गत 75 करोड़ रुपये।

- ग्वालियर के राजमाता विजयाराजे सिंधिया कृषि विश्वविद्यालय को ब्लॉक ग्रांट के अंतर्गत 78 करोड़ रुपये।

- सहायक भूमि संरक्षण कार्यालय के अमले की स्थापना के ल‍िए 58 करोड़ रुपये।

महिलाओं के लिए

- लाड़ली बहना योजना के लिए 18,669 करोड़ का प्रावधान किया गया।

- लाड़ली बहनों को केंद्र की योजनाओं जैसे अटल पेंशन, प्रधानमंत्री जीवन ज्योति बीमा और प्रधानमंत्री जीवन सुरक्षा योजना से जोड़ा जाएगा।

- कामकाजी महिलाओं के लिए हॉस्टल बनाए जाएंगे। इसके लिए 100 करोड़ का प्रावधान।

- लाडली लक्ष्मी योजना के लिए 1183 करोड़।

- इंद्रा गांधी राष्ट्रीय वृद्धा पेंशन योजना में 1152 करोड़।

- महिलाओं के लिए पोषण 2.0 योजना अंतर्गत 223 करोड़ का प्रावधान।

- मुख्यमंत्री श्रमिक सेवा प्रसूति सहायता के लिए 720 करोड़।

कर्मचारियों के लिए

- सरकारी कर्मचारियों के लिए यूनिफाइड पेंशन योजना लागू किए जाने की प्रक्रिया पर विचार करने के लिए उच्चस्तरीय समिति गठित होगी।

- एक अप्रैल 2025 से सातवें वेतनमान के महंगाई भत्ते का पुनरीक्षण किया जाएगा।

उद्योग के लिए

- आगामी पाँच वर्षों में उद्योगों को लगभग तीस हजार करोड़ का इंसेंटिव दिया जाएगा।

- राज्य में 39 नए औद्योगिक क्षेत्र विकसित किए जा रहे हैं।

- औद्योगिक नीति एवं निवेश प्रोत्साहन में 2810 करोड़ एवं एमएसएमई में 1668 करोड़ का प्रावधान।

धर्म एवं संस्कृति

- 2028 में होने वाले सिंहस्थ के लिए बजट में निमार्ण, विकास कार्य के लिए 2,005 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया।

- श्रीकृष्ण पाथेय योजना के लिए 10 करोड़ रुपये।

- राम पथ गमन योजना के लिए 30 करोड़ रुपए का प्रावधान किया गया।

- गीता भवन में पुस्तकालय, सभागार, साहित्य सामग्री विक्रय केंद्र बनाए जाएंगे, इसके लिए 100 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया।

- वेदांत पीठ की स्‍थापना के लिए 500 करोड रुपये

अन्य प्रमुख घोषणाएं

- टाईगर रिजर्व के वफर जोर का विकास-25 करोड़

- अविरल निर्मल नर्मदा-25 करोड़

- मुख्यमंत्री वृन्दावन ग्राम योजना-100 करोड़

- देवी अहिल्याबाई कौशल विकास कार्यक्रम-25 करोड़

- मुख्यमंत्री समृद्ध परिवार योजना-125 करोड़

- सोशल इम्पैक्ट बॉड-20 करोड़

- स्वास्थ्य एवं आंगनवाड़ी सेवाओं की एकीकृत अधोसंरचना -5 करोड़

- मुख्यमंत्री मजरा-टोला सड़क योजना-100 करोड़

- क्षतिग्रस्त पुलों का पुननिर्माण-100 करोड़

- निजी निवेश से संपत्ति का निर्माण-100 करोड़

- निजी निवेश से शासकीय संपत्ति का संचालन

- पुलिस बल का आधुनिकीकरण (केन्द्रीय योजना)

- प्रत्येक जिले में जिला विकास सलाहकार समिति गठित होगी।

- राज्य स्तरीय बीमा समिति का गठन किया जाएगा।

- निर्मल भारत अभियान- 594 करोड़

- गौ एवं पशुओं का संवर्धन-505 करोड़

- वन विज्ञान केन्द्र-5 करोड़

प्रति व्यक्ति आय 22.35 लाख का लक्ष्य

वित्त मंत्री देवड़ा ने कहा कि हमारा लक्ष्य प्रति व्यक्ति आय 22 लाख 35 हजार पहुंचाने का है। उन्होंने कहा कि 'हमने वित्त वर्ष 2025-26 का बजट जीरो वेस्ट बजटिंग प्रक्रिया से तैयार किया है। इसके माध्यम से बजट में प्रावधानित राशि सही योजना में, सही आकार में और सही परिणाम प्राप्त करने में सहायक रहेगी। उन्होंने कहा कि पिछले 22 वर्षों में इसमें लगभग 17 गुना की वृद्धि हुई है।

खास बातें

- बजट की कुल विनियोग राशि 4,21,032 करोड़ है, जो विगत वर्ष से 15 प्रतिशत अधिक है।

- बजट 2025-26 में राजस्व अधिक्य 618 करोड़ रहने का अनुमान है।

- अनुमानित राजस्व प्राप्तियां- 2,90,879 करोड़ है, जिसमें राज्य के स्वयं के कर की राशि 1,09,157 करोड़, केन्द्रीय करों में प्रदेश का हिस्सा-1,11,662 करोड़, करों से प्राप्त राजस्व-21,339 करोड़ एवं केन्द्र से प्राप्त सहायता अनुदान, 48661 करोड़ है।

- वित्तीय वर्ष 2025-26 में वर्ष 2024-25 का बजट अनुमान की तुलना में पूंजीगत परिव्यय 31 प्रतिशत बढ़ा।

विरासत से विकास की राह पर बजट - त्‍वरित ट‍िप्‍पणी/ ग‍िरीश उपाध्‍याय


भारतीय जनता पार्टी की राज्य सरकारें खुद को डबल इंजिन की सरकार कहती हैं। मध्यप्रदेश में मोहन यादव की सरकार का अगले वित्‍त वर्ष 2025-26 का बजट इस बात को सार्थक करते हुए ज्ञान (GYAN ) यानी गरीब, युवा, अन्‍नदाता और नारी पर केंद्रित है। मोदी सरकार के केंद्रीय बजट की थीम भी यही थी। पिछले दिनों राजधानी भोपाल में हुए ‘ग्‍लोबल इन्‍वेस्‍टर्स समिट’ की छाया भी इस बजट पर साफ दिखाई दे रही है। वित्‍त मंत्री जगदीश देवड़ा ने बजट भाषण में ऐलान किया कि प्रदेश में 39 नए औद्योगिक क्षेत्र विकसित किए जा रहे हैं। इनसे 3 लाख से अधिक रोजगार मिलेंगे।

विरासत से विकास की अवधारणा को साकार करते हुए बजट में वेदांत पीठ की स्‍थापना के लिए 500 करोड रुपये का प्रावधान किया गया है। वहीं 2028 के सिंहस्‍थ की तैयारियों के लिए 2005 करोड़ रुपये रखे गए हैं। हालांकि 4 लाख 21 हजार 32 करोड़ रुपये का कुल बजट प्रदेश पर चढ़े 4 लाख 62 हजार 217 करोड़ रुपये के कर्ज की छाया में तैयार हुआ है, फिर भी इसमें पिछले बजट की तुलना में 15 प्रतिशत अधिक राशि का प्रावधान किया गया है।

प्रदेश के विकास की प्रक्रिया में जनभागीदारी के लिए जिला विकास सलाहकार समितियां गठित करने की नई पहल की गई है। यदि इसका प्रभावी क्रियान्‍वयन हुआ तो जिलों के विकास को नई दिशा मिल सकती है। इसी तरह देश में बढ़ते डिजिटल कारोबार को देखते हुए डिजिटल विश्‍वविद्यालय और राष्‍ट्रीय रक्षा विश्‍वविद्यालय की स्‍थापना भी अच्‍छा कदम है। लाड़ली लक्ष्‍मी योजना की राशि भले ही न बढ़ाई गई हो पर लाड़ली बहनों को केंद्र की अटल पेंशन योजना से जोड़ा जाएगा। कर्मचारियों को खुश करने के लिए उन्‍हें दिए जाने वाले भत्‍तों का 1 अप्रैल 2025 से, सातवें वेतनमान के सुसंगत स्तरों के अनुसार, पुनरीक्षण करने की बात भी कही गई है।

चूंकि कोई नया कर नहीं लगाया गया है इसलिए बजट को लेकर कोई नकारात्‍मक वातावरण तो नहीं बनने वाला, बस अलग-अलग मदों या विभागों के बारे में ज्‍यादा से ज्‍यादा यही कहा जा सकता है कि उनमें और अधिक राशि का प्रावधान होना चाहिए था। पर यहां इस बात को ध्‍यान में रखना होगा कि सरकार की आमदनी में से करीब आधी राशि वेतन, भत्‍तों, पेंशन और भारी भरकम कर्ज का मूलधन और ब्‍याज चुकाने में जा रही है। ऐसे में जो संभव हो सकता था वह करने की कोशिश हुई है।

बजट इन दिनों आंकड़ों की बाजीगरी का दस्‍तावेज बन गए हैं। उनमें विस्‍तृत ब्‍योरे लगातार कम होते जा रहे हैं। ज्‍यादातर आंकड़े प्रतिशत में होते हैं जो कई बार वास्‍तविक स्थिति को अस्‍पष्‍ट तरीके से प्रकट करते हैं। ऐसे में कई बातों या दावों की असलियत महीनों बाद या कभी-कभी तो अगले बजट में प्रकट होती है। ऐसे में होली की पूर्व संध्‍या पर प्रस्तुत किए गए इस बजट को लेकर यदि कोई ऊंच नीच हो भी जाए तो यह कहने का विशेषाधिकार सरकार के पास रहेगा ही कि बुरा न मानो होली है....

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