Saurabh Sharma Case: पूर्व RTO आरक्षक सौरभ शर्मा की अनुकंपा नियुक्ती पर तत्कालीन CMHO के खिलाफ शिकायत
Saurabh Sharma Case : मध्यप्रदेश। पूर्व आरटीओ आरक्षक सौरभ शर्मा की अनुकंपा नियुक्ति मामले में नया अपडेट सामने आया है। सौरभ शर्मा की नियुक्ति करने वाले CMHO के खिलाफ आरटीआई एक्टिविस्ट ने शिकायत की है। RTI कार्यकर्ता और एडवोकेट संकेत साहू ने लोकायुक्त में सौरभ शर्मा के खिलाफ शिकायत की है।
RTI कार्यकर्ता और एडवोकेट संकेत साहू ने लोकायुक्त को की गई शिकायत में कहा है कि, 'सौरभ शर्मा की फर्जीवाड़ा कर अनुकम्पा नियुक्ति में अयोग्यता होते हुए भी तथ्यों को जानबूझकर छुपाने के मामलें में तत्कालीन भ्रष्टाचारी मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी (सी.एम.एच.ओ.) ग्वालियर (म.प्र.) आदि अन्य दोषियों के विरुद्ध भारतीय दण्ड संहिता की धारा 419, 420, 467, 468, 471, 120 (बी) एवं भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम 1988 की धारा 13 (1) (डी), 13(2) के तहत अतिशीघ्र एफआईआर दर्ज की जाए।'
लोकायुक्त को की गई शिकायत में कहा गया है कि, 'सौरभ शर्मा ने अपने अनुकम्पा नियुक्ति के आवेदन फॉर्म में तथ्यों को जानबूझकर छिपाया गया है जिससे वह फर्जीवाड़ा कर अयोग्य होते हुए भी मध्यप्रदेश शासन को धोखाधड़ी कर नियुक्ति प्राप्त कर सकें। अनुकम्पा नियुक्ति हेतु निर्धारित फॉर्म में परिवार के सदस्यों की सम्पूर्ण जानकारी दी जानी थी जो कि जानबूझकर नहीं दी गयी। परिवार के सदस्यों में सिर्फ उमा शर्मा आयु 57 (पत्नी), सौरभ शर्मा आयु 33 (पुत्र) की जानकारी दी गई हैं लेकिन सौरभ शर्मा ने अपनें बड़े भाई सचिन शर्मा की जानकारी अनुकम्पा नियुक्ति हेतु भरे गए फॉर्म में नहीं दी हैं जिससे पूरा मामला संदेह के घेरे में आ गया हैं।'
सचिन शर्मा 4/9/2013 को शासकीय सेवा में आ चूका था और छत्तीसगढ़ राज्य के रायपुर में वित्त विभाग के कार्यालय में सहायक संचालक के पद पर कार्यालय संचालनालय कोष लेखा एवं पेंशन (ऑडिट सेल) रायपुर में कार्यरत हैं। यदि यह महत्वपूर्ण जानकारी सौरभ शर्मा अनुकम्पा नियुक्ति के फॉर्म में भर देता तो उसकी अनुकम्पा नियुक्ति नहीं लग पाती लेकिन सौरभ शर्मा ने परिवार के सदस्यों में सचिन शर्मा का नाम छुपा लिया इस वजह से यह मामला तथ्यों को छुपाकर अनुकम्पा नियुक्ति प्राप्त करने का मामला बन गया है। अनुकम्पा नियुक्ति हेतु सौरभ शर्मा की माँ उमा शर्मा ने अपने हस्ताक्षर कर सहमति भी दी थी।