अखिलेश यादव चुने गए नेता प्रतिपक्ष, शिवपाल हुए नाराज, कहा- जल्द लूंगा बड़ा निर्णय
लखनऊ। उत्तरप्रदेश विधानसभा चुनाव में मिली हार के बाद समाजवादी पार्टी में एक बार फिर कलह शुरू हो गई। अखिलेश यादव की अध्यक्षता में आज सपा विधायक दल की बैठक हुई। जिसमें उन्हें नेता प्रतिपक्ष चुन लिया गया है। ख़ास बात ये रही की इस बैठक में प्रगतिशील समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष शिवपाल सिंह यादव को नहीं बुलाया गया। जबकि उन्होंने सपा के टिकट पर ही जसवंत नगर सीट से चुनाव लड़ा था। ऐसे में वह अखिलेश और पार्टी दोनों से नाराज हो गए।
अखिलेश यादव सदन में नेता प्रतिपक्ष -
समाजवादी पार्टी(सपा) के प्रदेश अध्यक्ष नरेश उत्तम ने कहा कि समाजवादी पार्टी के विधायकों ने पार्टी अध्यक्ष और करहल से विधायक अखिलेश यादव को सर्व सम्मति से विधायक दल का नेता चुना है। वरिष्ठ सपा विधायक अवधेश प्रसाद ने विधायक दल नेता चुने जाने का प्रस्ताव रखा और वरिष्ठ विधायक आलम बदी ने उसका समर्थन किया। अब सपा सुप्रीमो अखिलेश यादव सदन में नेता प्रतिपक्ष होंगे।
शिवपाल हुए नाराज -
सपा विधानमंडल दल की बैठक में शिवपाल सिंह यादव को नहीं बुलाया गया जिससे वह नाराज हो गए। उन्होंने कहा की आज समाजवादी पार्टी की विधायक मंडल की बैठक हुई। सभी विधायकों के पास इसकी सूचना थी लेकिन मेरे पास कोई सूचना नहीं थी इसलिए मैं भी बैठक में नहीं गया। मैं दो दिनों से इस बैठक के लिए रुका था उसके बाद भी मुझे कोई सूचना नहीं दी गई। मैं सपा का विधायक हूं। अब मैं इटावा जाऊंगा। मैं आगे क्या करने वाला हूं इसकी सूचना जल्द ही दे दी जाएगी।
28 को बुलाया जाएगा -
शिवपाल के बयान पर प्रदेश अध्यक्ष नरेश उत्तम ने कहा की आज सपा के विधायकों को बुलाया गया था। सहयोगी दलों के किसी विधायक को नहीं बुलाया गया था, उन्हें 28 को बुलाया जाएगा। चाहे वो शिवपाल यादव हों या पल्लवी पटेल या राजभर हों, सबको 28 मार्च को बुलाया जायेगा।उन्होंने कहा कि समाजवादी पार्टी पूरे दमखम से चुनाव लड़ी। किसानों के मुद्दों पर आज भी पार्टी खड़ी है और आगे भी खड़ी दिखायी देगी। किसानों के समर्थन मूल्य को समाजवादी पार्टी ने हमेशा अपनी मांग में उठाया है, जबकि भाजपा ने इसे कभी नहीं माना। उन्होंने कहा कि भाजपा अपने घोषणा पत्र में किये वायदों को पूरा करें, तभी जनता के बीच दोबारा जाने की स्थिति में होगी।