Jai Vilas Palace: सबसे आलीशान महलों में शुमार है महाराज का ये पैलेस, जानें खासियत

ग्वालियर के जय विलास महल की खूबसूरती और चमक इतनी खास है कि इसे देखने के बाद हर कोई देखता ही रह जाता है।

Update: 2024-05-29 12:56 GMT

Jai Vilas Palace: प्राचीन काल से ही राजा-महाराजाओं की लाइफस्टाइल शाही अंदाज की रही है तो वहीं कई राजा आज भी अपने खूबसूरत महलों के लिए जाने जाते हैं। मध्य प्रदेश के ग्वालियर में केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया का महल भारत के सबसे आलीशान महलों में शामिल किया गया जो खूबसूरत होने के साथ ही 4500 हजार करोड़ रुपये कीमत के साथ बना है जहां पर ज्योतिरादित्य सिंधिया अपनी पत्नी प्रियदर्शनी बेटे महान आर्यमन और बेटी के साथ रहते हैं। जय विलास महल की खूबसूरती और चमक इतनी खास है कि इसे देखने के बाद हर कोई देखता ही रह जाता है।

जानिए कब बना था पैलेस

जय विलास पैलेस की बात कर तो, इसका निर्माण काफी प्राचीन है जहां सिंधिया राजवंश के शासक जयाजी राव सिंधिया ने सन 1874 में कराया था। अंग्रेजों के जमाने में बना यह पैलेस यूरोपीय वास्तुकला पर आधारित है जिसे फ्रांसीसी आर्किटेक्ट सर माइकल फिलोस ने डिजाइन किया था, जहां विदेशी कारीगरों की मदद से इस महल को चार सौ कमरों के साथ भव्य बनाया गया था इस महल की पहली मंजिल टस्कन शैली,  दूसरी मंजिल  इतालवी-डोरिक शैली और तीसरी कोरिंथियन शैली में बनी है. इतावली संगमरमर और फारसी कालीन से महल की सजावट की गई है।

जानें कितना बड़ा है पैलेस

जय विलास पैलेस की बात की जाए तो 12 लाख 40 हजार 771 वर्ग फीट में फैला है जब यह बना था तब इसकी कीमत एक करोड़ थी और इसे बने हुए अब तक 146 साल भी हो गए हैं। इस महल के चालीस कमरों में म्यूजियम बनाया गया जिसे महारानी विजयाराजे सिंधिया ने निर्देशित किया था। इस महल की दूसरी मंजिल पर बना दरबार हाल जयविलास की शान कहा जाता है. दरबार हाल की दीवारों और छत को पूरी तरह सोने-हीरे-जवाहरात से सजाया गया था।इसके दरबार हाल की छत पर दुनिया का सबसे बड़ा वजनी झूमर लगाया गया है, इसे लेने कहा जाता है कि, इस साढ़े तीन हजार किलो के झूमर को लटकाने से पहले कारीगरों ने छत की मजबूती को परखा गया था जिसके लिए छत के ऊपर नौ से दस हाथियों को खड़ा किया गया दस दिन तक छत पर हाथी चहलकदमी करते रहे, जिससे विश्वास होने के बाद झूमर लटकाया गया।

भव्य है पैलेस का शाही डायनिंग हाल

वैसे तो जय विलास पैलेस में हर एक हिस्से की अपनी खासियत है यहां का शाही डायनिंग हाल बड़ा ही खास बना है जो राजसी शोभा बिखेरता है। यहां पर एक समय में पचास से ज्यादा शाही लोग भोजन करते थे, जहां खाना परोसने के लिए कोई कर्मचारी नही बल्कि चांदी की खूबसूरत ट्रेन भोजन परोसती थी, ट्रेबल पर ट्रेन के लिए बकायदा पटरी बनी हुई है। शाही डायनिंग हाल के अलावा यहां देखने के लिए भोजन दरबार भी है जहां मेहमानों को ठाठ बाट के साथ खाना परोसा जाता है। इसके अलावा महल में राजा-महाराजा के वाहन, राज दरबार, बैठक हॉल खास चीजों में आते है।

Tags:    

Similar News