मानसून सत्र : जवानों के साथ खड़ा है संसद, विपक्ष ने LAC को लेकर की चर्चा की मांग - प्रधानमंत्री

Update: 2020-09-14 05:45 GMT

नई दिल्ली। संसद सत्र के शुरू होने से पहले प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी ने एक कड़ा संदेश भेजा जिसमें उन्होंने कहा कि संसद वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) पर खड़े हमारे सैनिकों के पीछे एक स्वर और भाव में खड़ा है. हालांकि विपक्ष ने ये स्पष्ट कर चुका है कि वह भारत-चीन सीमा पर वर्तमान स्थिति के बारे में सरकार से विवरण चाहता है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार को विश्वास जताया कि संसद एक स्वर में यह संदेश देगी कि वह हमारी सीमाओं की रक्षा करने वाले सैनिकों के साथ एकजुटता से खड़ी है।

संसद का मानसून सत्र शुरू होने से पहले मीडिया को दिये आने बयान में मोदी ने लद्दाख में चीन के साथ चल रहे सीमा गतिरोध के स्पष्ट संदर्भ में कहा कि भातीय सैनिक कठिन पहाड़ी इलाकों में बहादुरी के साथ अपना कर्तव्य निभा रहे हैं। उन्होंने कहा कि संसद में कई महत्वपूर्ण मुद्दों पर चर्चा होगी, जितनी चर्चा होगी, उतना ही अच्छा है। उन्होंने कहा, '' मुझे विश्वास है कि सभी सांसद सामूहिक रूप से कई विषयों पर विचार-विमर्श करेंगे।

प्रधानमंत्री को जवाब देते हुए, कांग्रेस नेता शशि थरूर ने समाचार एजेंसी एएनआई से कहा, "इसमें कोई संदेह नहीं है कि हम सभी सैनिकों के साथ हैं। हालांकि, सरकार को संसद को बताना चाहिए कि सीमा पर क्या स्थिति है।" इसके अलावा कोविड महामारी का जिक्र करते हुए उन्होंनें कहा कि संसद सत्र विशेष परिस्थितियों में आयोजित किया जा रहा है और सांसदों ने कोविड काल में अपनी ड्यूटी करने का फैसला किया। उन्होंने कहा कि कोविड-19 से बचाव के लिए सभी उपाय अपनाये जायेंगे। वायरस का टीका मिलने तक कोई ''ढिलाई नहीं बरती जा सकती है।

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