Economic Survey: कॉलेज पास करने बाद इतने प्रतिशत युवाओं में कौशल की कमी, सर्वे में खुलासा

सर्वेक्षण में कहा गया है, देश में आज सबसे ज्यादा युवा हैं। जिसकी औसत आयु 28 वर्ष है और आर्थिक सर्वेक्षण 2024 के अनुमान के अनुसार लगभग 51.25 प्रतिशत युवा रोजगार के योग्य माने जाते हैं।

Update: 2024-07-22 13:03 GMT

Economic Survey: कल यानी 23 जुलाई को मोदी 3.0 की सरकार पहला बजट पेश किया जाना है। बजट पेश से पहले वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण सदन को संबोधित करते हुए देश में किए गए आर्थिक सर्वेक्षण का जिक्र किया। इस आर्थिक सर्वेक्षण में चौंकाने वाले खुलासे हुए हैं। निर्मला सीतारमण ने कहा कि संसद में 22 जुलाई को पेश किए गए आर्थिक सर्वेक्षण 2023-24 के अनुसार, भारत की आबादी तेजी से बढ़ रही है और बढ़ती आबादी का 65 प्रतिशत हिस्सा 35 वर्ष से कम आयु का है और उनमें से कई लोगों के पास आधुनिक अर्थव्यवस्था के लिए आवश्यक कौशल जो चाहिए होता है वो तो है ही नहीं।

सर्वेक्षण में कहा गया है, देश में आज सबसे ज्यादा युवा हैं। जिसकी औसत आयु 28 वर्ष है और आर्थिक सर्वेक्षण 2024 के अनुमान के अनुसार लगभग 51.25 प्रतिशत युवा रोजगार के योग्य माने जाते हैं। दूसरे शब्दों में लगभग दो में से एक अभी भी आसानी से रोजगार के योग्य नहीं है। बच्चे अपना कॉलेज कम्पलीट करने के बाद ये नहीं सोच पाते की उन्हें आगे क्या करना है।

पुरूषों के मुकाबले बढ़ी महिलाओं की भागीदारी

निर्मला सीतारमण ने आगे कहा कि पुरूषों और महिलाओं के बीच बढ़ती भागीदारी के साथ-साथ बेरोजगारी दर में भी पिछले कुछ वर्षों में कमी आई है। यह देखना अच्छा है कि ग्रामीण भारत ने महिलाओं की भागीदारी को बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है, जिससे महिलाओं के स्वरोजगार में बदलाव में वृद्धि हुई है। साथ ही देश के संगठित क्षेत्र में रोजगार में लगातार वृद्धि हुई है।

देश में घटी बेरोजगारी दर

पीरियॉडिक लेबर फोर्स सर्वे या पीएलएफएस के अनुसार, युवा (आयु 15-29 वर्ष) की बेरोजगारी दर 2017-18 में 17.8 प्रतिशत से घटकर 2022-23 में 10 प्रतिशत हो गई है। EPFO के अनुसार युवा रोजगार में वृद्धि औपचारिक रोजगार के आंकड़ों में भी दिखाई दी है। केंद्र सरकार के कौशल विकास कार्यक्रम 20 से अधिक मंत्रालयों/विभागों में फैले हुए हैं, मगर दोनों के बीच कोई तालमेल नहीं हो पा रहा है।

कोविड के बाद और आई गिरावट

सर्वेक्षण में कहा गया है कि कोविड-19 महामारी का दौर गुजरने के बाद एक नई गिरावट देखने को मिली है। 8-28 वर्ष की आयु के नए ईपीएफ ग्राहकों की संख्या में वृद्धि हुई है। EPFO पेरोल में लगभग दो-तिहाई नए ग्राहक 18-28 वर्ष की आयु के हैं। इस प्रकार, युवा आबादी के साथ-साथ युवा रोजगार भी बढ़ रहा है।

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