लोकसभा में क्या बोले राहुल गांधी, 'चक्रव्यूह' पर सरकार को घेरा, पीएम मोदी और अमित शाह को भी सुनाया

Rahul Gandhi Speech in Lok Sabha : महाभारत के चक्रव्यूह का उदहारण देते हुए उन्होंने प्रधानमंत्री मोदी और गृह मंत्री अमित शाह पर तीखी टिप्पणी।

Update: 2024-07-29 09:34 GMT

लोकसभा में क्या बोले राहुल गांधी

Rahul Gandhi Speech in Lok Sabha : नई दिल्ली। संसद में सोमवार को राहुल गांधी ने सरकार को खूब सुनाया। उन्होंने बजट की खामियां गिनाते हुए सरकार को घेरा। संपत्ति के कॉन्सेंट्रेशन से लेकर ईडी, सीबीआई के दुरुपयोग और यहां तक कि महाभारत के चक्रव्यूह का उदहारण देते हुए उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह पर तीखी टिप्पणी की।

राहुल गांधी ने कहा, "हजारों साल पहले कुरुक्षेत्र में छह लोगों ने अभिमन्यु को चक्रव्यूह में फंसाकर मार डाला था। मैंने थोड़ा शोध किया और पाया कि चक्रव्यूह को पद्मव्यूह भी कहते हैं - जिसका मतलब है कमल का फूल। चक्रव्यूह कमल के आकार का होता है। 21वीं सदी में एक नया चक्रव्यूह बना है - वह भी कमल के फूल के आकार का। प्रधानमंत्री इसका प्रतीक अपने सीने पर पहनते हैं। वर्तमान समय में भी चक्रव्यूह है। उससे भारत बर्बाद हो रहा है - युवा, किसान, महिलाएं, छोटे और मध्यम उद्योग सब परेशान हैं। आज भी चक्रव्यूह के केंद्र में छह लोग हैं - नरेंद्र मोदी, अमित शाह, मोहन भागवत, अजीत डोभाल, अंबानी और अडानी।"

स्पीकर ओम बिरला के हस्तक्षेप के बाद नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने कहा, "अगर आप चाहें तो मैं एनएसए, अंबानी और अडानी का नाम छोड़ दूंगा और सिर्फ 3 नाम लूंगा।"

लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने कहा, "मेरी अपेक्षा थी कि यह बजट इस चक्रव्यूह की ताकत को कमजोर करेगा, यह बजट इस देश के किसानों की मदद करेगा, इस देश के युवाओं की मदद करेगा, इस देश के मजदूरों, छोटे व्यापारियों की मदद करेगा। लेकिन मैंने जो देखा है, वह यह है कि इस बजट का एकमात्र उद्देश्य इस ढांचे को मजबूत करना है - एकाधिकार व्यवसाय का ढांचा, एक राजनीतिक एकाधिकार का ढांचा जो लोकतांत्रिक ढांचे और डीप स्टेट और एजेंसियों को नष्ट करता है। इसका परिणाम यह हुआ है - जिन्होंने भारत को रोजगार दिया, छोटे और मध्यम व्यवसायों को, उन पर नोटबंदी, जीएसटी और कर आतंकवाद के माध्यम से हमला किया गया।"

हलवा सेरेमनी पर भी सवाल :

लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने बजट सत्र से पहले वित्त मंत्रालय में आयोजित पारंपरिक हलवा समारोह का पोस्टर दिखाया। इस पर स्पीकर ओम बिड़ला ने आपत्ति जताई। इसके बाद राहुल गांधी ने कहा कि, "इस फोटो में बजट का हलवा बांटा जा रहा है। मुझे इसमें एक भी ओबीसी, आदिवासी या दलित अधिकारी नहीं दिख रहा। देश का हलवा बन रहा है और 73% है ही नहीं। 20 अधिकारियों ने भारत का बजट तैयार किया। हिंदुस्तान का हलवा 20 लोगों ने बातों का काम किया है।"

जातिजनगणा होकर रहेगी :

लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने कहा, "आपने जो चक्रव्यूह बनाया है, उससे करोड़ों लोगों को नुकसान हो रहा है। हम इस चक्रव्यूह को तोड़ने जा रहे हैं। ऐसा करने का सबसे बड़ा तरीका, जो आपको डराता है, वह है जाति जनगणना। जैसा कि मैंने कहा कि इंडिया अलायंस इस सदन में कानूनी एमएसपी की गारंटी देगा, उसी तरह, हम इस सदन में जाति जनगणना पारित करेंगे, चाहे आपको यह पसंद हो या नहीं।"

चक्रव्यूह बनाने वाले लोग फर्जी :

राहुल गांधी ने कहा, "हिंदुस्तान की प्रकृति अलग है। हर धर्म में चक्रव्यूह के खिलाफ एक संगठन है। हिंदू धर्म में शिव की बारात चक्रव्यूह के विपरीत है। शिव की बारात में कोई भी शामिल हो सकता है - किसी भी धर्म का कोई भी व्यक्ति... यह लड़ाई शिव की बारात और चक्रव्यूह के बीच है। हम मनरेगा, हरित क्रांति, स्वतंत्रता, संविधान के माध्यम से चक्रव्यूह को तोड़ते हैं। चक्रव्यूह शिव की बारात को नहीं हरा सकता। अपना इतिहास देखें। आप खुद को हिंदू कहते हैं, आप हिंदू धर्म को नहीं समझते। आप चक्रव्यूह बनाने वाले लोग हैं, फर्जी।"

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