शिवपुरी में गाय और कुत्ता पालने के लिए लेना पड़ेगा लाइसेंस, चुकाना होगा शुल्क

गाय के 50 तो कुत्ता पालने पर नगर पालिका से मिलेगा 150 रुपए में एक साल का लाइसेंस

Update: 2023-04-14 06:09 GMT

शिवपुरी।  यदि आप गाय और कुत्ता पालने के शौकीन हैं तो आपके लिए शिवपुरी नगर पालिका से एक बड़ी खबर सामने आ रही है, अब शिवपुरी नगरीय इलाके में गाय और कुत्ता पालने के लिए नगरपालिका से लाइसेंस लेना पड़ेगा इस लाइसेंस की अवधि 1 साल होगी और इसे एक साल बाद दोबारा रिनुअल कराना पड़ेगा। कुत्ता पालने के लिए लाइसेंस की फीस जोड़ 150 रपए और गाय पालने के लिए फीस ₹50 रखी गई है। यदि 1 जानवरों से किसी को कोई नुकसान पहुंचता है या संक्रमण फैलता है तो पशु पालक का लाइसेंस रद्द कर दिया जाएगा और उसके खिलाफ कार्यवाही होगी। बिना लाइसेंस गाय और कुत्ता पालने वालों पर कार्यवाही होगी।द

दरअसल नगर पालिका सीमा में पशुपालक द्वारा पाले जाने वाले प्रत्येक पशु का रजिस्ट्रीकरण करना अनिवार्य होगा। इसके लिए एक विधिवत रजिस्ट्रीकरण आवेदन पत्र बनाए गया है,जिसमें निर्धारित जानकारी बनकर पशुपालक अपना पंजीयन करा सकेंगे। जो ऐसा नहीं करेंगे वह कार्रवाई के दायरे में आएंगे।

पिछले कुछ समय से लगातार पशुओं की सड़क पर आवाजाही बढ़ने के चलते हो रही दुर्घटनाओं को रोकने के लिए यह पहल शहरी विकास अभिकरण द्वारा शुरू की गई है। जिसके अंतर्गत नगर पालिका सीमा में रखे गए प्रत्येक पशु स्वामी को अधिसूचना जारी होने के 3 माह के अंदर पशु के रजिस्ट्रेशन के लिए नगर पालिका नगर परिषद में निर्धारित प्रारूप में आवेदन प्रस्तुत करना होगा।आवेदन प्राप्त होने के बाद पशु चिकित्सक द्वारा पशुओं की जांच की जाएगी और यह प्रमाण पत्र दिया जाएगा कि पशु किसी भी संक्रमण रोग का शिकार नहीं है। और वह बाड़ा परिसर में रखने की योग्य है। इसके बाद संबंधित निकाय द्वारा पशुओं में तय किया टैग लगाया जाएगा। जिसका एक विधिवत रजिस्टर नगरपालिका कार्यालय में भी संधारित किया जाएगा।

1 साल के लिए होगा रजिस्ट्रेशन फिर हर साल कराना होगा रिन्यू

किसी भी पशु का रजिस्ट्रेशन केवल 1 वर्ष के लिए ही मान्य किया जाएगा। 1 वर्ष की समाप्ति से पहले पशुपालक स्वामी को पशु का नवीनीकरण कराना अनिवार्य होगा। यदि कोई पंजीकृत पशु सड़कों पर या अन्य सार्वजनिक स्थलों पर घूमता हुआ पाया गया तो नगरीय निकाय द्वारा पशु को पकड़कर कांजी हाउस में बंद कर दिया जाएगा।

1 सप्ताह के अंदर पशु स्वामी द्वारा उसे निर्धारित शुल्क चुकाकर उस पशु को छुड़ाया जा सकता है । यदि कोई पशु दोबारा भटकते हुए पाया गया तो संबंधित अधिकारी पशु के स्वामी को स्पष्टीकरण के लिए नोटिस जारी कर जुर्माना भी लगाएगा। इसके साथ ही पशुओं के प्रति क्रूरता होने या अन्य कोई संक्रमित रोग से ग्रसित होने पर लाइसेंस भी निरस्त किया जा सकता है।इसके लिए पशुपालक स्वामी को नोटिस भी जारी किया जा सकेगा। डूडा के अधिकारी सौरभ गौड़ ने बताया कि रजिस्ट्रेशन और आवारा पशुओं के लिए पेनल्टी निर्धारित की गई है। जिसमें कुत्तों के लिए रजिस्ट्रेशन शुल्क 150 रुपए वार्षिक नवीनीकरण शुल्क 50 रुपए रहेगा।

गाय,भैंस पशुओं के लिए रजिस्ट्रेशन शुल्क 50 रुपए वार्षिक और नवीनीकरण शुल्क 25 रुपए निर्धारित किया गया है। इन नियमों का पालन करने के लिए आयुक्त और विकास विभाग द्वारा कलेक्टर और जिले के सभी नगरीय निकाय के मुख्य नगरपालिका अधिकारी को निर्देश दिए गए।

हर पशुपालक को पंजीयन कराना होगा

अब हर पशुपालक को अपना पंजीयन नगर पालिका में कराना अनिवार्य होगा। जो ऐसा नहीं कराएंगे वह कार्रवाई के दायरे में आएंगे। इसके निर्देश हमें प्राप्त हो गए हैं और हमने नगरीय निकाय को भी इसके लिए पत्र जारी कर दिया है।

- सौरभ गौड , पीओ डूडा,शिवपुरी

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