राजस्थान कांग्रेस अध्यक्ष बोले - मुख्यमंत्री अशोक गहलोत खुद देंगे सचिन पायलट के अल्टीमेटम का जवाब
सचिन पायलट का आरोप है कि गहलोत सरकार पिछली भाजपा सरकार के भ्रष्टाचार के मामलों में कोई कार्रवाई नहीं कर रही है।
जयपुर/वेबडेस्क। कर्नाटक चुनाव के बाद अब कांग्रेस पार्टी अन्य राज्यों में होने वाले चुनाव को लेकर सक्रिय हो गई है। यही कारण है कि तेलंगाना, छत्तीसगढ़, मध्य प्रदेश और राजस्थान के प्रदेश अध्यक्षों, मुख्यमंत्रियों और प्रभारियों समेत प्रमुख कांग्रेस नेताओं के साथ मल्लिकार्जुन खड़गे बैठक कर चुनावी रणनीति बनाने जा रहे हैं। राजस्थान को लेकर खड़गे की बैठक 25-26 मई को प्रस्तावित है, जिसमें राजस्थान से प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा, मुख्यमंत्री अशोक गहलोत, प्रभारी सुखजिंदर सिंह रंधावा और तीनों सह प्रभारी अमृता धवन, काजी निजामुद्दीन और वीरेंद्र सिंह राठौड़ समेत प्रमुख नेता शामिल होंगे।
बैठक में सचिन पायलट भी शामिल हो सकते हैं। प्रदेश प्रभारी सुखजिंदर सिंह रंधावा ने दिल्ली में पत्रकारों से बातचीत करते हुए कहा है कि सचिन पायलट भी कांग्रेस के नेता हैं। ऐसे में उन्हें भी इस मीटिंग में बुलाया जा सकता है। इसके साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि जिन्हें मीटिंग में बुलाया जा रहा है, उन्हें लैटर भेजा जाएगा। बैठक का एजेंडा आगामी चुनाव में कांग्रेस की रणनीति को लेकर रहेगा, जिसमें चुनाव के अलावा किसी मसले पर बात नहीं होगी। रंधावा से जब सचिन पायलट के आंदोलन और अल्टीमेटम को लेकर सवाल पूछा गया तो रंधावा ने साफ कर दिया कि यह अल्टीमेटम सचिन पायलट ने सरकार को दिया है, कांग्रेस को नहीं। ऐसे में उस अल्टीमेटम का जवाब मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ही देंगे। उन्होंने कहा कि अगर पायलट ने अल्टीमेटम कांग्रेस को दिया होता तो हम जवाब देते, लेकिन यह अल्टीमेटम सरकार को दिया गया है।
गहलोत-पायलट खेमे में रार -
बता दें की सचिन पायलट ने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की सरकार को 15 दिनों का अल्टीमेटम दिया है। यदि उनकी मांगों पर कार्रवाई नहीं गई तो वह राज्यव्यापी आंदोलन शुरू करेंगे। उनका आरोप है की गहलोत सरकार पिछली भाजपा सरकार के भ्रष्टाचार के मामलों में कोई कार्रवाई नहीं कर रही है। इसके विरोध में उन्होंने हाल ही में अजमेर से जयपुर तक पांच दिवसीय और 125 किलोमीटर की 'जन संघर्ष यात्रा निकाली थी।